ख़िलाफ़ – संध्या सिन्हा : Moral stories in hindi

माँ सब पैकिंग कर ली ना! कल रात की फ़्लाइट है।” “हाँ बेटा तुम्हारी सारी पैकिंग कर दी मैंने।” “पर अपनी?????” “मैं नहीं जा रही तुम्हारे साथ।” “इतने बड़े घर में पापा के बिना कैसे रहेंगी माँ आप???” “पहले की बात और थी माँ।पापा थे आपके साथ और अभी उनके रिटायरमेंट में भी दो साल … Read more

ईश्वर की रचना – करुणा मलिक : Moral stories in hindi

सुना चाची  आपने  ! भोला मर गया आज सुबह । बड़ी बुरी मौत पाई बेचारे ने । कल रात कोई पानी देने वाला भी नहीं था उसके पास । सोहन और उसकी औरत ने बुरा किया । भुगतेंगे, कोल्हू के  बैल की तरह काम किया भोले ने इनका ।जब तक  माँ-बाप और मोहन था तो … Read more

दीदी यह पहले आपका घर है और हमेशा रहेगा – कविता झा ‘अविका’: Moral stories in hindi

“मां भाभी को आज मेन रोड पर देखा था कैसे कपड़े पहने हुए थे उन्होंने। तुम उन्हें कुछ नहीं कहतीं। उन्हें तो जरा सी भी शर्म लिहाज नहीं है। ससुराल में कैसे रहना चाहिए उनकी मां ने तो उनको कुछ सिखाया ही नहीं पर तुम कैसे उन्हें ऐसे बाहर जाने देती हो?  कितने जान पहचान … Read more

ये पल मिलेंगे कहां – अंजना ठाकुर : Moral stories in hindi

बालकनी मैं बैठे हुए राजेंद्र जी अपने बेटे अभय के साथ अपने पोते देव को खेलता हुआ देख कर खुद पर अफसोस कर रहे थे अभय , देव के साथ बच्चा बना हुआ  था और काफी खुश लग रहा था सोच रहे थे अभय कितना व्यस्त रहता है फिर भी बच्चे के साथ  वक्त निकाल … Read more

लडकी के भाई नहीं है – अर्चना खंडेलवाल : Moral stories in hindi

“ऐसे कैसे तूने लड़की के लिए हां कर दी, ना घर-परिवार देखा, ना ही लडकी के पापा की जमीन जायदाद देखी,  ऐसे कैसे कोई भी लड़की इस घर की बहू बन जायेंगी, और लड़की के भाई भी नहीं है। मै तो तुझे इसकी इजाजत नहीं दूंगा, चौधरी जी गुस्से में बोले। उनकी आवाज सुनकर उनके … Read more

रोक लो न मुझे – माधुरी गुप्ता : Moral stories in hindi

अनुराग २ महीने बाद सिविल सर्विस की ट्रेनिंग से लौटा था,अभी सिर्फ सुबह के सात ही बजे थे और सूरज ने जैसे आग उगलना शुरू कर दिया था,लगता है इस बार सर्दी की तरह गर्मी भी जम कर पड़ने बाली हैं। मार्च की गर्मी का ताप असहनीय सा लग रहा था और मैं अपने घर … Read more

कसक – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral stories in hindi

   नीम की सूखी पत्तियां  आंगन में  चारों ओर फैली हुई थी। कई दिनों तक भागदौड़ के पश्चात नीम की छाँव में बैठते ही पारो  की आंखें लग गयी। शीतल मंद बयार…।   अपने इकलौते बेटेबहू को आज ही बहू के मायके पग फेरे के लिये भेजा है। अकेली जान हजारों काम। नैहर ससुराल… अडो़सी पडो़सी …सभी … Read more

हां, मुझे जायदाद में अपना हिस्सा चाहिए – अर्चना खंडेलवाल : Moral stories in hindi

मोबाइल फोन की घंटी बजते ही शिखा के चेहरे पर मुस्कान आ गई, मायके से बड़े भैया का इतने समय बाद फोन आया था, और उसने एक ही घंटी में फोन उठा लिया। “नमस्ते, बड़े भैया, आप कैसे हैं? बहुत दिनों बाद अपनी बहन को याद किया, आप तो मुझे ब्याहकर भुला ही बैठे हैं, … Read more

मैंने जो गलती की तुम उसे नहीं दोहराना – के कामेश्वरी  : Moral stories in hindi

सुधा डिग्री कॉलेज में इंग्लिश लेक्चरर थी । कॉलेज ख़त्म होने के बाद वह इंग्लिश स्पीकिंग कोचिंग सेंटर में सिखाने जाती थी। सुबह की निकली रात को आठ बजे तक पहुँचती थी । अकेली रहती थी क्योंकि पिछले दो साल में माता-पिता दोनों का स्वर्ग वास हो गया था । वह उनकी अकेली संतान थी … Read more

इंजीनियर बनना है – मंजू ओमर: Moral stories in hindi

आज नरेंद्र जी भारी मन से बेटे पियूष का बोरिया बिस्तर समेटकर दिल्ली के कालेज से लेकर घर आ गये । पत्नी ने दरवाजा खोला तो बोले नरेन्द्र जी लो आ गया तुम्हारा गधा बेटा तीन साल बर्बाद करके । पत्नी भी उदास हो गई थी क्योंकि नरेन्द्र जी और उनकी पत्नी दोनों चाहते थे … Read more

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