जिम्मेदारी – सरोज देवेश्वर : Moral Stories in Hindi
वह तेज कदमों से बसस्टॉप की ओर बढ़ रही थी. आज उसे ऑफिस में ज्यादा देर तक रुकना पड़ा. अभी बसस्टॉप तक पहुंची ही थी कि शहर कि बत्ती गुल हो गई. घुप्प अंधेरा छा गया सड़क सुनसान और डरावनी प्रतीत हो रही थी. कुछ देर में उसने गौर किया, सड़क पर चहल पहल भी … Read more