तेरे मेरे बीच में – डॉ संगीता अग्रवाल: Moral stories in hindi

मयंक,बहुत उदास था आज,रह रह के उसे ये ख्याल परेशान कर रहा था कि वो घरवालों से और चांदनी से कब तक ये बात छुपा पायेगा कि कोरोना के चलते रिसेशन की मार का शिकार वो भी बन चुका था। अपने घर से वो ठीक टाइम  निकलता और देर शाम घर पहुंच जाता। चांदनी,जिससे उसकी … Read more

बंद करो अपना नाटक – मनीषा सिंह : Moral stories in hindi

“प्रतिज्ञा बेटा स्नान कर ले— कई दिन हो गए तुमने स्नान नहीं किया ठंड भी कम हो गई है जा स्नान कर ले—- ।मैने गीजर  ऑन कर दिया है ! फिर हम इकट्ठे ही नाश्ता करेंगे,! जल्दी जा  अब—–। अंबिका जी नाश्ता की प्लेट लगाते हुए  बोली । प्रतिज्ञा बूझे मन से टॉवल ले स्नान … Read more

रिश्वत – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral stories in hindi

उपमा के ललाट पर पसीना छलक आया! सांसें फूलने लगी पकड़े जाने के भय से वे नीली पड़ गई…  “चोरी… हां चोरी ही तो है… दो मिठाईयों की चोरी… वह भी अपनों के घर में। “  मोतियाबिन्द से ऐसे ही आंखों की रौशनी धुंधली हो गई है… चारो ओर धुआँ सा दीखता है। आई थी … Read more

खुशहाल मायका –  अर्चना सिंह : Moral stories in hindi

नीलम जी एक कुशल गृहणी और काफी व्यावहारिक महिला थीं । उनके पति सेवा निवृत्त हो चुके थे । उसके बाद नीलम जी की आकस्मिक दुर्घटना में मृत्यु हो गयी । एक सूत्र में पिरोए रखने वाली जब परिवार को अकेले छोड़कर चली गयी तो सबसे ज्यादा तनावग्रस्त उनके पति प्रशांत जी थे । दुःख … Read more

ठीक ही कह रही हो भाग्यवान –  बीना शर्मा : Moral stories in hindi

अनुराधा अपनी बेटी पिंकी के विवाह के लिए घर में सजावट कर रही थी कि तभी उसके पति अनुपम जो कुछ देर पहले ही अपने बेटे वैभव के ससुर दीनदयाल के पास बेटी के विवाह के लिए खुशी खुशी उनके ही कहने पर पैसे मांगने गए थे कुछ देर बाद जब वह वापस आए तो … Read more

मुक्ति – संगीता त्रिपाठी : Moral stories in hindi

“आपकी पत्नी को जो भी पसंद है, वो सामग्री दान करें।” पंडित जी की गंभीर आवाज कमरे में गूंज उठी। सब एक दूसरे का मुँह देख रहे थे। माँ की पसंद….. बहुत याद करने पर सतीश जी को याद आया एक बार इला ने आइसक्रीम खाने की इच्छा प्रकट की थी।”बेटा माँ को आइसक्रीम बहुत … Read more

अब समय है बदलाव का – संगीता अग्रवाल : Moral stories in hindi

ये कहानी एक साधारण भारतीय परिवार की लड़की प्रीति की है । अपने नाम के अनुकूल प्यारी सी है प्रीति दो बहनो और एक भाई के बाद उसका जन्म हुआ था । हालाँकि उसके माता पिता चौथा बच्चा नही चाहते थे पर उसकी दादी चाहती थी एक और लड़का हो जाये बस इसी कारण प्रीति … Read more

औकात बदल गई – गीता वाधवानी : Moral stories in hindi

कॉलेज में पहुंचते ही अमन कीआंखें निशा को खोजने लगती थीं। दोनों का कॉलेज का आखरी साल था। निशा शहर के प्रसिद्ध डॉक्टर अमरीशकी बेटी थी। जिनका खुद का एक बहुत बड़ा अस्पताल था। निशा को पैसेकी कोई कदर न थी और ना ही पढ़ाई-लिखाई में कोई रुचि। सिर्फ एक डिग्री प्राप्त करना उसका मकसद … Read more

घर की इज्जत – सविता गोयल : Moral stories in hindi

मिनाक्षी की शादी एक सम्पन्न परिवार में हुई थी। किसी चीज की कोई कमी नहीं थी ससुराल में| शहर में बहुत इज्जत और नाम था उसके ससुर जी का| घर में एक जेठ-जेठानी और एक कुंवारा देवर था जो बाहर पढ़ता था| मिनाक्षी की जेठानी बहुत ही सीधी-साधी सी थी, बस अपने काम से मतलब … Read more

औकात दिख गई – रोनिता कुंडु : Moral stories in hindi

अरे जीजी… अच्छा हुआ तुम सभी आ गए… अब मैं बहू को इस शादी की जिम्मेदारी देकर निश्चित हो पाऊंगी… मैं बता नहीं सकती जीजी… मुझे कितनी शांति मिली, तुम सबके आ जाने से… माया जी ने अपनी बड़ी बहन शोभा के परिवार से कहा…  माया जी की बेटी गौरी की शादी थी… जिसमें उनकी … Read more

error: Content is Copyright protected !!