किसी बात का एक पहलू ही नहीं दूसरा पहलू भी होता है….- संगीता त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi
“मैं तुम्हारी माँ के साथ नहीं रह सकती, बहुत टोका -टाकी करती हैं, जब तुम उन्हें गांव छोड़ आओगे, तभी मैं आऊंगी “कह मिली अपना सामान पैक करने लगी। मिहिर सर पर हाथ रखे बैठा था। सास -बहू की रोज की लड़ाईयों से तंग आ गया। किसको समझाये, किसको छोड़े, दोनों ही तो दिल में … Read more