बडो़ं का साथ – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral stories in hindi

  लीना ने उपरी तल्ले से झांककर देखा…आँगन में सासुमां घायल शेरनी की तरह बिफरी हुई थी। “अब भोरे-भोरे कौन सी आफत आ गई “भीतर से ताई जी  मिनमिनाई।  “जाकर देखूं क्या हुआ “! “पहले अपना हुलिया तो ठीक कर लो “लव करवट बदल खर्राटे भरने लगा। लीना  का ध्यान अपने आधुनिक नाइट ड्रेस पर गया… … Read more

एक जोड़ी आंखें – डा उर्मिला सिन्हा: Moral stories in hindi

जनवरी के सर्द महीने में मेरा सर्वांग जल रहा है-एड़ी से चोटी तक मैं क्रोध , घृणा और अपमान की भीषण ज्वाला में दग्ध हो रहा हूं। कहां  कमी रह जाती है……? इस विषय पर कई बार सोंच चुका हूं। अभी तंदूरी भट्ठी की तरह जलते तन मन से कोई भी सुकून देने वाली बात … Read more

कालचक्र (भाग 2)- डॉ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : “मां तुम्हारी नाराजगी मुझसे है न … मेरे भूख से तो नहीं ..सब बताऊंगी .. पहले पेट में तो कुछ डालने दो.”   मां सब-कुछ बर्दाश्त कर सकती है किन्तु संतान की भूख-प्यास नहीं..हाथ का काम छोड़ मां ने उसके हाथ में सुबह का ठंढा दाल-चावल और थोड़ी सी सब्जी पकड़ा … Read more

कालचक्र (भाग 1)- डॉ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : समय का पहिया घुमता रहता है ..कभी उपर कभी नीचे. कालचक्र के झंझावातों से इस नश्वर संसार में कोई अछूता नहीं है.   इति जब घर लौटी.शाम ढल चुकी थी.. बरामदे में ताऊ दोनों हाथ पीठ पर बांधे चहलकदमी कर रहे थे…सांझ के धुंधलके में उनके चेहरे का भाव इति को … Read more

गलती – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

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 आज गौरा का चित बड़ी चंचल था। खुशी दबाये न दब रही थी। “क्या बात है भाभी… कोई कारु का खजाना हाथ लग गया क्या? बड़ी चहक रही हो! “   “ऐसा ही समझ लो”गौरा  तेजी से निकल गई। वह जानती थी इन जलकुकडो़ को मन की बात बताना मतलब अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मारना। बेटे … Read more

** बिरादरी की जूठन ( भाग 1)  : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : पंच आपस में विचार- विमर्श करने के उपरांत दिलीप को बीच का मार्ग समझा रहे थे। लेकिन दिलीप अपनी जिद पर अड़ा था कि वह अपनी पत्नी पूनम के साथ  किसी प्रकार का सम्बन्ध न रखते हुए उसे अपने घर में नहीं रखेगा।    पूनम पंचों, ग्रामीणों के साथ ही … Read more

बेटियों वाली- डाॅ उर्मिला सिन्हा: hindi stories with moral

hindi stories with moral : बेटा विवाह का घर… हजारों काम …पुश्तैनी मकान दुल्हन की तरह सजा हुआ था! जगमग रौशनी… मेहमानों का जमघट… हंसी-मजाक… स्वादिष्ट भोजन मिठाईयों का रेलम-रेला!      तिलक चढने की तैयारी चल रही थी।सभी सजधजकर… महिलाएं अपनी सजावट से अप्सराओं को मात दे रही थी।  इस सब भव्य तैयारी के  पीछे खानदान … Read more

दीयों की चमक – डॉ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi :  रमा तिलमिला उठी.. परिस्थिति ने उसे कठोर और असहिष्णु बना दिया था.   बड़ी भाभी की तीखी बातें नश्तर सी चुभो रही थी.. कैसे इतनी कड़वी बातें कह जाते हैं वे लोग ….वह भी मुन्ने के सामने.. उनकी तीखी कड़वी बातों का मुन्ने के बालमन पर कितना दुष्प्रभाव पड़ेगा ….वे जरा … Read more

हृदय परिवर्तन – डाॅ उर्मिला सिन्हा : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : वे मंदिर की सीढियां धीरे-धीरे उतरने लगी। “यह गठिया का दर्द भी न… “वे बुदबुदाई।  दो नवयुवतियां हाथ में पूजा का थाल लिये आपस में बातें करती उनके आगे पीछे सीढियां उतर रही थी।  “इस बार पूजा की तैयारी कैसी चल रही है…पिछली बार तुमने गरवा में प्रथम पुरस्कार प्राप्त … Read more

प्रायश्चित – डाॅ उर्मिला सिन्हा   : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : नीले व्योम के वक्षस्थल को चीरता एअर इंडिया का विमान द्रुतगति से सात समुंदर पार जा रहा है। सभी यात्री अपने आप में खोये हुए हैं। गोमती भी अपने सीट पर निर्विकार भाव से बैठी तो है परन्तु उसका मन पाखी यादों की पंख लगाए उड़ाने भर रहा है। अतीत … Read more

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