शादी की दावत – विनिता मोहता

सभी दोस्तों में से अनिरुद्ध की शादी ही नहीं हुई थी| सारे दोस्तों को और उनकी पत्नीओ के बीच अनिरुद्ध की शादी हमेशा हॉट टॉपिक होता था क्योंकि अनिरुद्ध शहर के जाने-माने व्यवसायी का बेटा था| सभी को लगता था कि अनिरुद्ध की शादी बहुत ही धूमधाम से होगी| मगर अनिरुद्ध ने कोर्ट मेरिज कर … Read more

एक कहानी -गोविन्द गुप्ता

सीमा एक सीधी साधी लड़की थी दुनियां के किसी भी शौक को नही पालती थी यहाँ तक मोवाइल भी केवल की पैड बाला ही रखती थी,उसके पापा सोंचते थे कि किसी अच्छे से लड़के के साथ उसकी शादी हो तो वह तलाश में रहते थे, अचानक एक बड़ी कम्पनी के मालिक का बेटा उनसे मिलने … Read more

अनमोल उपहार-संजय सहरिया

कॉलेज के दिनों से बलराम की सबसे बड़ी इच्छा थी कि उसे एक बेहद सुंदर पत्नी मिले. उसका रंग रूप ऐसा हो कि दोस्त और रिश्तेदार बस देखते रह जाएं. साधारण व्यक्तित्व वाले बलराम की ईश्वर ने आख़िरकार सुन ली थी.गोपिका के रूप में उसे अपने सपनों की दुल्हन मिल गयी थी.गोरा रंग,छरहरा व्यक्तित्व, आकर्षक … Read more

अपरिचित -दीप्ति मित्तल

रात थोड़ी डरावनी हो चली थी। वैसे इसमें रात की कोई गलती नहीं थी। प्रकृति के बंधे-बंधाये नियमों के तहत धरती के उस हिस्से ने सूरज से पीठ कर ली थी जिधर दिल्ली बसता था। ये तो वो रोज़ ही किया करती थी। गलती शायद इस शहर की थी या सिया के कुछ अनुभवों की … Read more

प्रेशर कुकर-संजय सहरिया

“मम्मी अगले सप्ताह तुम्हारी मैरेज एनिवर्सरी है.पच्चीसवीं सालगिरह.मुझे पता है कि तुम्हे तो बिल्कुल भी याद नही होगा.घर खर्चे  के साथ अलग से पैसे भेज रही हूं.अपने पसन्द की प्यारी सी साड़ी ले लेना.वो पुरानी चप्पल कब तक पहनोगी? कीमत जो भी हो पर  किसी अच्छे शॉप में जाकर ब्रांडेड और आरामदायक सेंडल देख लो.पापा … Read more

सपना – रीता मिश्रा तिवारी

मम्मी मम्मी चिल्लाती हुई सना घर में प्रवेश करती है। अरे बेटा तू चिल्ला क्यों रही है? और किसके साथ आई है? मम्मी ने कहा। मम्मी ! वो छोड़ कर चले गए , शाम को आएंगे लेने। सुनो न मम्मी ! दो महीने हो गए , और वो सपना नहीं आया है, मैं बहुत खुश … Read more

चतुर ननद – सुषमा यादव

,, मेरी कोई सगी ननद नहीं थी,, ससुराल में  मेरी सासु मां ने कहा कि,, ये मेरी सौतेली बहन की बेटी है,, ये ही तुम्हारी बड़ी ननद है, और ये इसकी बच्ची गायत्री है,, इनका तुम्हें विशेष ध्यान रखना होगा,,, मैंने घूंघट की आड़ से देखा,, दीदी को और उस सात, आठ साल की बच्ची … Read more

मेरी सुलू – अनुपमा 

सुलु जरा इधर सुन तो , भाभी की आवाज सुन कर सुलू ने भी आवाज से प्रति उत्तर दिया आई ई ई ई भाभी और फौरन ही भाभी के सामने जा कर खड़ी हो गई । सुलु हमेशा से ऐसे ही है दस साल की उम्र से वो भाभी के पास ही रह रही है … Read more

सफलता और व्यवहार – गोविन्द गुप्ता

निधि एक सपने को लेकर फ़िल्म इंडस्ट्री में आई थी कि एक सफल अभिनेत्री बनेंगे और देश भर में उसका नाम होगा , माता पिता भाई की का मन नही था कि वह मॉडलिंग के व्यवसाय को अपनाएं पर निधि ने स्वयं निर्णय लिया और मुम्बई आ गई, कुछ जगह जाकर इंटरव्यू दिये सुंदर तो … Read more

दहेज की मोटरसाइकिल – गोविन्द गुप्ता

रूपा के पिता जब लड़के वाले के यहां मिठाई लेकर रूपा के रिश्ते हेतु पहुंचे तो अपनी सुंदर सुशील शिक्षित बेटी के गुणों का बखान करने लगे, राहुल जो पास में बैठा था बोला सब तो ठीक है पर हंमे बुलेट मोटरसाइकिल चाहिये दहेज में, रूपा के पिता कुछ समझ पाते उससे पहले ही लड़के … Read more

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