हमारे घर का चिराग़ हमारे ही आँगन में होगा – रश्मि प्रकाश

रागिनी को जब पता चला कि वह माँ बनने वाली है तो उसकी ख़ुशी का ठिकाना नहीं रहा था ये यूँ तो उसका दूसरा बच्चा था पर ख़ुशी दुगुनी हो रही थी क्योंकि उसने अपने पति तुषार से यही कहकर दूसरे बच्चे के लिए हामी भरी थी कि पहले बच्चे के वक़्त मुझे महसूस ही … Read more

इतनी स्वार्थी भी मत बनो – रश्मि प्रकाश

”ये कैसी गलती हो गई उससे … कह दो ये झूठ है…ना मैं मान ही नहीं सकता नरेन ऐसा कुछ कर सकता है….. मेरा छोटा भाई कभी ऐसाकर ही नहीं सकता है तुम लोग मुझे मेरे भाई के बारे में ऐसी बातें बता कर मुझे उसके ख़िलाफ़ भड़का रहे हो..!” कहते हुए नरेश बाबूअपनी आराम … Read more

खुद करो तो ठीक मैं करू तो गलत – रश्मि प्रकाश 

  वह अपने ऑफिस से निकलने ही वाली थी …कि अचानक तेज बारिश शुरु हो गई सोचने लगी समर ने कहा था “आज मैं तुम्हें लेने आ जाऊंगा मेरा इंतजार कर लेना।” एक घंटे होने को आए समर अब तक नहीं आया ऑफिस के भी अधिकांश लोग जा चुके थे। ऑफिस की कार भी निकल … Read more

क्या अपने सगे भी करते ऐसा धोखा….? – रश्मि प्रकाश 

सीता कुंज में आज बहार थी… घर के इकलौते चिराग़ की शादी जो होने वाली थी…. हल्दी, संगीत सब ख़ूब धूमधाम से हुआ….चारबहनों के इकलौते भाई की शादी जो थी… सबने मनपसंद कपड़े पहने हुए थे… साज सजावट देखते बन रही थी… आज शादी का दिनऔर बारात बड़ी धूमधाम से निकली… सब खूब मस्ती कर … Read more

मैं ऐसा कभी नहीं कर सकती…. रश्मि प्रकाश

गरिमा की आँखों से अविरल आँसुओं की धारा बह रही थी…. उसका इस तरह अपमान होगा वो सोच ही नहीं पा रही थी…. बड़ी भाभी ने जो अपमान किया वो तो वो बर्दाश्त भी कर लेती पर क्या माँ को भी मुझ पर भरोसा नहीं रहा….सालों से इस घर में अपनी सेवा के परिणामस्वरूप ऐसा … Read more

राजा साहब (भाग 1 ) – रश्मि प्रकाश

“अरे बाबू आपको क्या ज़रूरत पड़ी थी इस गाँव में आकर अपना बुढ़ापा काटने की…. पैदल चलते चलते हम सब थक गए हैं पर आप में अभी भी जोश है जाने कितने कोस की दूरी और तय कर लेंगे ।” हरिया ने राजा साहब से कहा शहर से साथ आए परिवार के सदस्य भी थक … Read more

राजा साहब (भाग 2 ) – रश्मि प्रकाश

दूसरे दिन तड़के हरिया उस गाँव की ओर निकल गया। दो गाँव पार कर के उसके गाँव पहुँच गया। क्या कह कर घर के अंदर जाए इसी असमंजस में था कि उसपर एक आदमी की नज़र पड़ गई ,“ क्यों भाई किसको खोज रहे हो… तुम्हें पहले तो कभी नहीं देखा है… चौधरी साहब के … Read more

राजा साहब (भाग 3 ) – रश्मि प्रकाश

दस दिन किसी तरह बीत गए बच्चों को भी गाँव में मन लगने लगा था…हर दिन खेतों पर जाना.. ताजी ताजी सब्ज़ियाँ तोड़ कर लाना… नए नए अनुभव लेकर अब उनके जाने का दिन आ गया था। राजा साहब चाहकर भी बच्चों को रोक नहीं सकते थे क्योंकि सोहम और सोहा के स्कूल जो खुलने … Read more

राजा साहब (भाग 4 ) – रश्मि प्रकाश

सोना ने बहुत अच्छी तरह से रज्जु की देखभाल की ज़िम्मेदारी उठा ली थी। सोहम और सोहा शाहर जाने के इंतज़ार में बस अब दिन गिन रहें थे क्योंकि उनकी पढ़ाई का नुक़सान हो रहा था.. संग लाई किताबें पढ़ तो रहे थे पर स्कूल के दोस्तों को याद करते रहते थे गाँव में जो … Read more

राजा साहब (भाग 5) – रश्मि प्रकाश

सोना ने बहुत अच्छी तरह से रज्जु की देखभाल की ज़िम्मेदारी उठा ली थी। सोहम और सोहा शाहर जाने के इंतज़ार में बस अब दिन गिन रहें थे क्योंकि उनकी पढ़ाई का नुक़सान हो रहा था.. संग लाई किताबें पढ़ तो रहे थे पर स्कूल के दोस्तों को याद करते रहते थे गाँव में जो … Read more

error: Content is Copyright protected !!