अम्मा – रचना कंडवाल
श्याम लाल जी सुबह फ्रेश हो कंधे पर तौलिया डाल कर नहाने बाथरूम में प्रवेश करने ही वाले थे। अम्मा जो अभी अच्छी भली बाहर बरामदे में बैठकर धूप सेंक रही थी उनके करूण क्रंदन ने उन्हें बाहर आने पर मजबूर कर दिया। श्यामू ओ श्यामू ! बाहर निकल तेरे घर में मेरा गुजारा नहीं … Read more