मन से मन मिले तो दीप जल उठे – लतिका श्रीवास्तव 

…थोड़े दिनों बाद ही दिवाली है…..सुमेर अत्यधिक उत्फुल्लित और उत्साहित था …इस बार आराम से अपनी पत्नी और बच्चों के साथ स्वतंत्रता पूर्वक दिवाली मनाऊंगा….पिछली दिवाली पर मां पिताजी थे….हर बात पर टोका टाकी….ये ऐसा करना था ..वो वैसा करना चाहिए था….!! उसकी तो बहस हो गई थी  पिता जी से….. साफ कह दिया था … Read more

बस इतना ही तो चाहिए…!! – लतिका श्रीवास्तव: Moral Stories in Hindi

358584 Moral Stories in Hindi : अरे अम्मा जी भी हैं क्या आशी जी आपने बताया नहीं ..तो फिर कल शाम को आप अम्माजी को लेकर आइयेगा हमने घर पर कान्हा के जन्मदिन का उत्सव रखा है अम्माजी का आशीर्वाद भी हमें मिल जायेगा….रीमा बहुत विनम्रता और आदर से हाथ जोड़ कर निमंत्रित कर रही … Read more

उम्मीद भरे हाथ – लतिका श्रीवास्तव

..आज फिर उम्मीद लगा बैठी थी सुरम्या कि कोई उसे मनाने आयेगा बिना बताए ही समझ जायेगा कि उसके मन को कौन सी बात मथ रही है लेकिन सुबह से शाम और रात हो गई सब अपने अपने में व्यस्त हैं रात में उसने खाना भी नहीं खाया विराग ने कुछ चिंता से पूछा था … Read more

असली पुरस्कार – लतिका श्रीवास्तव  : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi : कितनी इज़्ज़त कितना सम्मान है मेरा यहां इतना कहीं और कभी नहीं मिल सकता… सुमेधा का प्रमोशन हो गया था और विदाई का भव्य समारोह शहर के प्रतिष्ठित स्कूल के विशाल सभागार में संपन्न हो रहा था….सुमेधा का मन मस्तिष्क गर्व  सम्मान और संतुष्टि पूर्ण प्रसन्नता से आप्लावित हो रहा … Read more

सम्मान तो करना पड़ेगा..!- लतिका श्रीवास्तव : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi: पूरे ऑफिस में सुगबुगाहट व्याप्त हो गई थी जैसे ही अनुभा ने नए ऑफिस में कदम रखा एक अजीब सी अनुभूति उसे हुई … वो सबसे युवा थी महिला थी और उन सबकी बॉस थी!!शायद यही सबको खटक रहा था…!! अनुभा के लिए सबकी निगाहों में अवहेलना का भाव थे…. ये … Read more

आंसू नहीं बहाना!!- लतिका श्रीवास्तव : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi  : आज ऑफिस में मीटिंग थी देर तक चली मामला ही ऐसा था जिसमें सबकी सहमति नहीं बन पा रही थी ऑफिस की महिला कर्मियों को साल भर में दस दिनों के अतिरिक्त अवकाश दिए जाने का …. जिसमें सबकी सहमति नहीं बन पा रही थी सो तर्क वितर्क का दौर … Read more

विश्वास ही तो चाहिए..!!- लतिका श्रीवास्तव: Moral stories in hindi

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Moral stories in hindi  : थोड़ी भी अपने पिता की इज्जत की चिंता है तो जा चुल्लू भर पानी में डूब मर…..आज तेरे जैसे कपूत के कारण पुलिस थाने जाना पड़ा मुझे!!मैं एक सिद्धांतवादी शिक्षक जिसने जिंदगी भर गुमराह बच्चों को राह दिखाई आज उसी का बेटा गुमराह हो गया है….जिसकी ईमानदारी की मिसाल पूरा … Read more

रिश्तों का सम्मान – लतिका श्रीवास्तव   : Moral stories in hindi

moral stories in hindi : ओहो रामू तीन दिनों से समझा रही हूं तुझे कि वो एसी वाला कमरा राजन बाबू के लिए तैयार करना है ये नई वाली चादरें भी उसी कमरे के लिए निकाली थी मैने… तूने यहां इस कमरे में क्यों बिछा दीं..सुमित्रा जी रामू पर बिगड़ रही थीं। वो मां जी … Read more

मन की गिरहें –  लतिका श्रीवास्तव : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi  : शारदा जी आ तो गईं है  शशांक के साथ पर मन बिलकुल बुझा बुझा सा है….शशांक के पापा के साथ एक ही बार बेटा बहु के पास आई थी ….सारी सुविधाएं होते हुए भी दोनो का मन ज्यादा दिन वहां नहीं लग पा रहा था तब शशांक से कहकर वापिस … Read more

कहीं ये वो तो नहीं..!!!  : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi : अक्टूबर की सर्द हवा हड्डियां गलाने वाली भीषण ठंड के साथ मिलकर मानो सरगोशी सी कर रही थी कुछ षड्यंत्र रच रही थी ठंड की तानाशाही का वर्चस्व कायम रखने के लिए….बस्तर के सुदूर  आदिवासी बाहुल्य गांव के इस अधपक्के से मकान में मैं कैलाश बिचारा किस्मत का मारा .. … Read more

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