प्रतिक्रिया – शिप्पी नारंग : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : अर्चना जी पलंग पर बैठी बड़े मनोयोग से टीवी पर रामायण देख रहीं थी पति भारत जी अपनी आराम कुर्सी पर बैठे अखबार पढ़ रहे थे ।अर्चना जी पूरी तरह से रामायण में डूबी थी कि अचानक खट की आवाज आई और टीवी बंद हो गया अर्चना जी एकदम चौंक … Read more

वनवास (भाग 2)- डॉ. पारुल अग्रवाल : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi :  आर्यन के मुंह से इतनी समझदारी की बात सुनकर नंदिनी ने भी उसका साथ देने का वायदा किया। उसने आर्यन को बताया कि कॉलेज के समय में रचना मानव नाम के लड़के से प्यार करती थी। दोनों एक साथ बहुत अच्छे लगते थे ऐसा लगता था कि दोनों एक दूसरे … Read more

वनवास (भाग 1)- डॉ. पारुल अग्रवाल : Moral stories in hindi

Moral stories in hindi : आर्यन अठारह साल का आकर्षक सा किशोर जिसने अपनी बारहवीं की परीक्षा बहुत अच्छे अंको से पास की थी।आगे की शिक्षा के लिए उसका मन बाहर की यूनिवर्सिटी में जाने का था पर दिल के कोने में कहीं ना कहीं उसको अपनी मां की भी चिंता थी। असल में आर्यन … Read more

अंतर्मन की लक्ष्मी ( अंतिम भाग ) – आरती झा आद्या : Moral Stories in Hindi

“टिंग, टोंग”, बातें करते करते विनया की ऑंख लगी ही थी कि मुख्य द्वार की घंटी किसी के आगमन की सूचना देने हेतु मुखर हो उठी। विनया हड़बड़ा कर उठ बैठी, “ओह हो, चाय का समय हो गया और मेरी ऑंख लग गई। दरवाजे पर कौन है।” घंटी की आवाज पर संपदा को उठकर दौड़ते … Read more

अंतर्मन की लक्ष्मी ( भाग – 44) – आरती झा आद्या : Moral Stories in Hindi

जब हैप्पी बर्थडे के शोर ने घर को आवृत्त किया, विनया मनीष के बगल में आकर शर्मीली सी मुस्कान लिए हुए उस विशेष क्षण की ओर देख रही थी। शर्मीली मुस्कान के साथ उसकी आँखों में चमक थी, जो बता रही थी कि यह छोटा सा क्षण उसके लिए कितना महत्वपूर्ण था। संपदा विनया की … Read more

** बिरादरी की जूठन ( भाग 2)  : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi :    दिलीप के माता-पिता उसे कुछ कहना छोड़ दिये थे क्योंकि वह उन्हें भी अपमानित करने से नहीं चूकता। आये दिन घर में अशांति का माहौल बना रहता था। पूनम इस माहौल को स्वीकार नहीं कर पा रही थी। इस घर में कोई उसकी तकलीफ समझने वाला नहीं था। दिलीप … Read more

** बिरादरी की जूठन ( भाग 1)  : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : पंच आपस में विचार- विमर्श करने के उपरांत दिलीप को बीच का मार्ग समझा रहे थे। लेकिन दिलीप अपनी जिद पर अड़ा था कि वह अपनी पत्नी पूनम के साथ  किसी प्रकार का सम्बन्ध न रखते हुए उसे अपने घर में नहीं रखेगा।    पूनम पंचों, ग्रामीणों के साथ ही … Read more

अंतर्मन की लक्ष्मी ( भाग – 43) – आरती झा आद्या : Moral Stories in Hindi

“तुम दोनों, सौरभ बेटा तुम” मनीष के साथ बैठक में छोटी बल्ब की हल्की रोशनी में दीपिका और सौरभ को देखकर अंजना आश्चर्यचकित होकर कहती है। “शी.. शी..आंटी जी, आपकी बहू की नींद बहुत पतली सी है। कल उनका जन्मदिन है और अब मेरे पतिदेव और उनके पतिदेव के बीच दोस्ती हो गई है तो … Read more

अंतर्मन की लक्ष्मी ( भाग – 42) – आरती झा आद्या : Moral Stories in Hindi

“ओह तुम तो डर ही गई। ऐसा क्या है इस डायरी में।” विनया के गोरा मुखड़े को पूर्णतः सफेद होते देख मनीष कहता है। नहीं कुछ नहीं, विनया के डायरी छीनने के प्रयास में डायरी मनीष के हाथ से छूट कर फिर से नीचे गिर गई। जब टीके विनया नीचे झुकती, मनीष झुक कर गिरने … Read more

मां की पाती (भाग 2)- डॉ.पारुल अग्रवाल : Moral Stories in Hindi

Moral Stories in Hindi : रीति इसका गुस्सा भी उन पर निकालती थी। जब रीति मां बनने वाली थी और अपने प्रसव के लिए मायके आई हुई थी। तब भी मां का उसके बेटी होने के बाद का जो चालीस दिन का समय होता है उसके खान पान के लिए वो चाची और बुआ से … Read more

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