“अनकहा दर्द चुभता है” – हेमलता गुप्ता : Moral Stories in Hindi

आज नेहा के नए फ्लैट का  ग्रह प्रवेश था, उसने अपने फ्लैट में रहने वाले चार-पांच परिवार और अपनी सबसे प्रिय और खास सहेली श्रद्धा को भी आमंत्रित किया था, शांतिपूर्वक गृह प्रवेश संपन्न हो गया और सभी लोग अपने-अपने घरों को चले गए श्रद्धा काफी देर से कुछ पूछना चाह रही थी जिसे नेहा … Read more

अनकहा दर्द – नीलम शर्मा : Moral Stories in Hindi

सिया क्या हमने इसीलिए प्यार मोहब्बत की कसमें खाई थी कि अगर हमारे परिवार वाले हमारी शादी के लिए तैयार नहीं होंगे, तो हम एक दूसरे को भूल जाएंगे। यह तो हमें पहले से ही पता था ना कि हमारी समान जाति न होने के कारण हमारे घरवाले हमारे रिश्ते को स्वीकार नहीं करेंगे। अब … Read more

आखिर कैसा खून का रिश्ता…… – अमिता कुचया : Moral Stories in Hindi

विमला की बेटी की शादी होनी थी, वो बहुत खुश भी थी। वह सभी रिश्तेदारों को फोन करके बता रही थी, हमने भी अपनी बेटी की शादी तय कर दी है। जो लोग ताने दे रहे थे, उनके मुँह पर भी ताला लग गया,उसका इशारा मायके पक्ष की ओर था….लेकिन मायके में मनमुटाव के चलते … Read more

अनकहा दर्द – खुशी : Moral Stories in Hindi

कुछ दर्द ऐसे होते है जिन्हें आपको अकेले ही सहना पड़ता है। नयना देवीपुर गांव में रहती थीं।देखने में सुंदर ,12 पास घर के सब कामों में कुशल ।जो देखता यही कहता जिस घर जाएगी उसे स्वर्ग बनाएगी।नयना के दादाजी के मित्र रतन लाल शास्त्री जो बनारस में रहते थे और उनकी वहां बहुत बड़ी … Read more

अनकहा दर्द – के कामेश्वरी : Moral Stories in Hindi

जगन और मदन दोनों मुंजेरी गाँव में एक साथ मिलकर रहते थे । जगन की पत्नी सुमन डिलीवरी के लिए अस्पताल गई हुई थी उनका बड़ा बेटा राम घर पर चाची मौसमी के पास रुका हुआ था । मदन ने घर के अंदर आते हुए जोर से चिल्लाकर कहा राम तुम्हारा छोटा भाई हुआ है … Read more

अनकहा दर्द – डाॅ संजु झा : Moral Stories in Hindi

 बारह वर्षीय मासूम अंश के चेहरे पर अचानक से अनकहे दर्द की बदली छा गई। माता-पिता की  आकस्मिक मौत ने अंश की मासूमियत छीन ली।अंश  के पिता की नौकरी मुंबई में थी और मॉं  की नौकरी  जयपुर में थी। दोनों अपने तबादले के लिए  प्रयासरत  थे,इस कारण अंश  दिल्ली के स्कूल  के हॉस्टल में रहकर … Read more

नाटक – बीना शर्मा : Moral Stories in Hindi

“सुधा जल्दी से एक कप चाय बना कर ले आओ मेरे सर में बहुत तेज दर्द हो रहा है साथ में एक सिर दर्द की गोली भी ले आना” सुधीर ने शाम को ऑफिस से आने के बाद अपनी पत्नी सुधा से कहा तो सुधा चाय लाने की बजाए सुधीर को मुस्कुराकर छेड़ने लगी यह … Read more

ज़िम्मेदारियों में गुम होते सपने – रश्मि प्रकाश : Moral Stories in Hindi

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सुनंदा जी घर के सारे काम निपटवाने के बाद सहायिका कमला से चाय बनाकर लाने को  बोल कर बाहर बरामदे में आ रही हल्की धूप में जाकर बैठ गई तभी उनका मोबाइल बज उठा देखा तो ननद चेतना का कॉल है… चेहरे पर हल्की मुस्कान के साथ फ़ोन पर बातें करने लगी। हाल समाचार के … Read more

हरे कांच की चूड़ियां!! – पूर्णिमा सोनी : Moral Stories in Hindi

घर में मेहमानों की रेलमपेल मची थी। बाहर वाले कमरे में भीतर बरामदे से लेकर छत तक… सब जगह सुनीति अपनी ननद के घर उनकी पच्चीसवीं मैरिज एनिवर्सरी के अवसर पर आई थी… अपनी पति ,बच्चों और सासू मां सरला जी के साथ यूं तो ( सासू) मां साथ चलने को तैयार नहीं थी.. अभी … Read more

मौन- दर्द – बालेश्वर गुप्ता : Moral Stories in Hindi

  चहुँ ओर शोर,चिल्लाहट,हाय हाय की आवाज उठ रही थी।एक ट्रक के पीछे दो किशोर बच्चे कुचले पड़े थे,मांस के लोथड़े बिखरे हुए थे।उसी ट्रक की साइड में एक 60 वर्षीय वृद्ध भी अचेवस्था पड़े थे।एक अति विभत्स और करुणाजनक दृश्य वहां था।          उक्त घटना 1972-73 की है।मेरे पिता ईंटो के भट्टे के व्यवसाय में थे। … Read more

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