दिखावे की जिन्दगी – मुकुन्द लाल : Moral Stories in Hindi

  प्रीती और सुशांत की शादी हाल ही में हुई थी। नई-नई शादी के उमंग-उत्साह में सराबोर प्रीती अपने और अपने पति के संग विभिन्न आकर्षक मुद्राओं में खींचे गए फोटोग्राफ्स को कभी फेसबुक पर तो कभी व्हाट्सऐप पर निरंतर बिना किसी दिन नागा किए हुए डालती जा रही थी। इन तस्वीरों में दोनों नवविवाहित जोड़ी … Read more

सूनी गोद – पूनम सारस्वत : Moral Stories in Hindi

सीमा की शादी को लगभग दस वर्ष हो चुके थे। पर अब तक गोद सूनी थी उसकी । वो इस बात पर बहुत. ज्यादा ध्यान नहीं देती थी । भाई के दोनों बच्चे और छोटी के दोनों नन्हे मुन्ने उसे कभी ये महसूस होने ही न देते थे कि वो अब तक माँ नहीं बनी … Read more

दिखावे की जिंदगी – उमा वर्मा : Moral Stories in Hindi

रमा कान्त जी अकेले चले जा रहे थे ।मंजिल का कोई अता-पता नहीं है ।पत्नी एक महीने पहले ही गुजर गयी है ।दो बेटे हैं ।शादी शुदा ।अपनी गृहस्थी में मगन ।जब नौकरी में थे तभी पत्नी सरला के बहुत कहने पर एक छोटा सा आशियाना बना लिया था ।साधारण पोस्ट पर ही थे वह। … Read more

दान के फल – संध्या त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi

 अजी सुनते हैं…. हां , हां यही हूं बोलो ना…. गिरधारी लाल ने सुनयना देवी से कहा…!        आज शनिवार है, मैं सोच रही हूं शनि मंदिर के सामने बैठे  भिखारियों को फल बांट दूं…..ऐसा करिए आप मुझे पांच किलो सेव लाकर दे दीजिए…।       ठीक है , तुम तैयार हो तब तक मैं फल लेकर आता … Read more

आइने के पीछे – लतिका श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

जरा रुक मोनी रुक…. श्री की तेज आवाज से मोनी ने पलट कर देखा तो श्री अपना मोबाइल निकाल रही थी। नो श्री प्लीज अभी नहीं अभी मोबाइल पर्स में ही रहने दे अभी बहुत सारी शॉपिंग करनी है मोनी ने दबाव देकर कहा लेकिन तब तक तो श्री अपना मोबाइल निकाल कर उसमें सेल्फी … Read more

नयी फसल – बालेश्वर गुप्ता : Moral Stories in Hindi

अरे,दुर्गा काका,कैसे हैं आप,कल से आपसे बात ही नही हो पायी।काका सब ठीक है ना?        हाँ-हाँ, सब ठीक है छोटे सरकार।अब तुम आ गये हो तो और सब ठीक हो जायेगा।         और सब ठीक हो जायेगा, यानि कुछ गड़बड़ है?काका बताओ ना क्या बात है?          कुछ नही बबुआ,पूरे दो साल में आये हो,आराम करो,बाते तो … Read more

आश्चर्य पर आश्चर्य – सुधा भार्गव : Moral Stories in Hindi

  मेरे छोटे बेटे को आश्चर्य पर आश्चर्य देने की आदत है। उसकी पत्नी भी उसका खूब साथ देती है। अचानक झोली में आन पड़ी खुशियों का भार सँभालना कभी कभी मुश्किल भी हो जाता है। पर इतना अवश्य है कि एक अरसे तक आश्चर्य के सम्मोहन से रोम -रोम पुलकायमान रहता है।   मुझे अच्छी तरह … Read more

दिँखावे की ज़िंदगी – करुणा मालिक : Moral Stories in Hindi

पूनम , ज़रा तैयार रहना …मैं तुम्हें लेने आ रहा हूँ, वकील की माताजी का निधन हो गया है, वहीं चलना है । वकील  की माताजी? मतलब मेहरा भाई साहब की ?  हाँ- हाँ… बस पाँच मिनट में पहुँच रहा हूँ …. उनकी बड़ी बहन पहुँचने वाली है बस उनका इंतज़ार हो रहा है । … Read more

आंखों पर बंधी पट्टी। – पूनम भटनागर : Moral Stories in Hindi

आज आफिस में बहुत काम था, कमर दुखने आ गई, काम करते करते, फिर छः बजे का एलारम गूंजा, तो टीया की तंद्रा टूटी, वह फाईलें समेट उठ खड़ी हुई।थके कदमों से बाहर निकली ही थी,कि आसिमा आतीं दिख गई, और टिया कैसा दिन रहा तेरा। बड़ा ही हैक्टिक, वहीं ढेर सारी फाइलें और और … Read more

उड़ान – राशि सिंह : Moral Stories in Hindi

“तुमको पता है जिंदगी के लिए उड़ान और आजादी कितनी जरूरी है! ” सलय ने शीना के हाथ को अपने हाथों में लेते हुए कहा तो शीना ने गहरी सांस लेते हुए हाँ कहा और नदी में उठती लहरों पर पास में ही पड़ा एक कंकड़ देकर मार दिया। लहर ऐसे ही उठती आगे बढ़ती … Read more

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