डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -97)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

 ऐसा ‘कुछ भी’ नहीं है दीदी “ आंखों में कुछ तैर गया था उसने नज़रें फेर लीं। ” चलो मान लिया, ऐसा कुछ नहीं है …  फिर भी ‘कुछ तो’ है …  मैं जानना चाहती हूं उस छोटे से कुछ को भी “ नैना ने मुंह दूसरी तरफ फेर लिया, “आप जजमेंटल तो नहीं होगी … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -96)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

जया … ” रोहन तुम्हें नैना कुछ परेशान नहीं लगती?” ” शायद है, या नहीं भी, पता नहीं “ ” मतलब  ?  कुछ तो ऐसा है जिसमें वह उलझ कर रह गई है “ ” मैं पिछले कुछ दिनों से यह महसूस कर रहा हूं।  पर किसी दुःख तभी बांटो जब वह उसका बोझ नहीं … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -95)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

रात के गहरे सन्नाटे में एक अजीब से अपराधबोध से घिरने लगी हूं। कहां गलती हो रही  है ? आखिर हिमांशु अपने काम्प्लेक्स से बाहर क्यों नहीं निकल पा रहा है ? कभी-कभी वह कितना पाॅजिटिव लगता है जब कहता है , ” अगर ढ़ंग से जीवन जिया जाए तो उम्र कुछ भी माएने नहीं … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -94)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

मुन्नी अनुराधा के बेटे को बस स्टैंड से पिक करने चली गई है।  इसलिए फोन की घंटी बजते-बजते थक कर बंद हो चुकी है। आंखें मूंदे हुए कल के रिहर्सल के  सिलसिले में सोच रही नैना ने फिर हिमांशु को फोन करने के लिए हाथ में फोन उठा लिया है। फरवरी महीने के अन्तिम दिन … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -93)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

” नैना! जरा बताना तो मैंने आज डिनर के लिए क्या बनाया है ?  “ शाम को रिहर्सल से आने के बाद जैसे ही नैना बाथरूम से नहा कर निकली,  अनुराधा पूछ बैठी। विनोद भाई सोफे पर बैठे बुजुर्गों की तरह मुस्कुरा रहे थे। ” क्या चीज बनाई है, अनु मैं किस तरह बाद सकती … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -92)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

उसकी उधेड़बुन जारी रही। यह तो वह अब समझ पाई है कि जीवन इसी उधेड़बुन का दूसरा नाम है। ” कोई कहानी , कोई वचन या कोई स्वप्न जो एक दिन बुनी जाती है उसे दूसरे ही उघेड़ दिया जा सकता है  “ उसके गृहप्रवेश पर घर से पिता , विनोद भाई एवं अनुराधा नहीं … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -91)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

हिमांशु को देख नैना के चेहरे पर मुस्कान छा गई , पर अगले ही पल तीखी दुविधा से … सपना की कही हुई , ” एक ही शहर में तुम्हारे दो-दो प्रेमी ? यह आदर्श स्थिति नहीं है ” वह कांप गई। मन में खयाल आया, ” मुझे इस स्थिति से संजीदगी से उबरना होगा … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -90)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

सोफे पर ही थकी नैना को नींद आ गई थी। मुन्नी ने भी उसे चैन से सोता हुआ देख कर नहीं जगाया है। अगली सुबह नौ बजे, ” सुकुमारी, मुबारक हो! ” से नैना की आंख खुली। देखा सामने रोहन कुमार खड़े मुस्कुरा रहे हैं। हड़बड़ाहट में उठ कर पूछी, ” अरे आप! आप कब … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -89)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

” नैना , तुमने इतनी बड़ी खुशी की बात मुझे नहीं बताई । कम से कम एक फोन ही तो कर दिया होता “ माया का आरोप भरा स्वर, ” दीदी , पिछले दिनों बहुत ही थका देनें वाला साबित हुआ है। नैना के स्वर अनुनय भरे, ” हिमांशु कैसा है ?” ” ठीक है … Read more

डार्लिंग!कब मिलोगी” (भाग -88)- सीमा वर्मा : Moral stories in hindi

अगले कुछ दिनों में नैना, शोभित और खुद कुसुम ने भागदौड़ कर सारी तैयारी पूरी कर ली। ज़ीशान के मतानुसार पहले कोर्ट में जा कर रजिस्ट्री मैरिज की कार्रवाई पूरी की गई। उसी दिन सांझ को लग्न था। जब राॅय बाबू की इच्छानुसार सादे समारोह में कुछ करीबी नाते – रिश्तेदारों एवं उसके घरवालों की … Read more

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