हिस्सा – ऋतु गुप्ता : Moral Stories in Hindi

शरद ने अपनी पत्नी शुभी से कहा यह  तुम क्या कह रही हो कि मैं गांव जाकर बाबूजी से मकान व दुकान में अपने हिस्से की बात करूं,क्योंकि कानूनन मेरा भी हक बनता है कि मैं भी अपने भाई के साथ बराबर का हिस्सेदार  हूं,उस घर व दुकान में…   तुम इतनी खुदगर्ज कैसे हो सकती … Read more

पंख – ऋतु गुप्ता : Moral Stories in Hindi

जब आज संजना को अपनी तीनों बेटियों में सबसे छोटी बेटी पंखुरी का ज्यूडिशरी का रिजल्ट पता चला तो उसकी आंखों से खुशी के साथ-साथ वक्त और अपनों ने दिए जख्मों को याद कर मिश्रित आंसू की झड़ी लग गई। वह दौड़कर घर में बने मंदिर में सिर नवाकर ईश्वर का धन्यवाद कर रोने लगी। … Read more

बुढापा..एज इज जस्ट ए नंबर – रीतू गुप्ता Moral Stories in Hindi

राधा के घर में खूब हलचल थी, आज उसके बेटे बहु उसका ६०वां जन्मदिन धूमधाम से मना रहे थे।    राधा ने खूब मना किया कि इस बुढ़ापे में यह सब कहाँ अच्छा लगता है…  पर उनकी बहु सिया नहीं मानी।  वो बोली… माँ, दिल होना चाहिदा है जवान … उम्र च की रखिया।    राधा की … Read more

अपना घर स्वर्ग -ऋतु गुप्ता : Moral Stories in Hindi

आज दोनों बुजुर्ग दम्पत्ति लखमीचंद जी और उनकी पत्नी पुष्पा जी झूले पर बैठे अपने घर के आंगन में अपने स्वर्ग जैसे घर का आनंद ले रहे थे। तभी लख्मी चंद जी की आंखों के सामने  तीन वर्ष पहले का एक दृश्य सचित्र घूम गया, जब उन्होंने अपने बेटे से कहा था….. बेटा कहां थे … Read more

अपना घर स्वर्ग -ऋतु गुप्ता : Moral Stories in Hindi

आज दोनों बुजुर्ग दम्पत्ति लखमीचंद जी और उनकी पत्नी पुष्पा जी झूले पर बैठे अपने घर के आंगन में अपने स्वर्ग जैसे घर का आनंद ले रहे थे। तभी लख्मी चंद जी की आंखों के सामने  तीन वर्ष पहले का एक दृश्य सचित्र घूम गया, जब उन्होंने अपने बेटे से कहा था….. बेटा कहां थे … Read more

जीवनसाथी साथ निभाना – ऋतु गुप्ता  : Moral Stories in Hindi

आज हमारी मां पूरे 2 महीने बाद व्हीलचेयर पर बैठकर एंबुलेंस से उतारा तो हम सभी के चेहरे पर थोड़ी मुस्कान थी। हमारा छोटा भाई और पापा सहारा देकर मां को घर के अंदर ला रहे थे तो हम दोनों बहने और हमारी प्यारी भाभी और सभी बच्चों ने चाहें  हमारे बच्चे हो या भाई … Read more

ये क्या अनर्थ कर दिया तुमने – रीतू गुप्ता : Moral Stories in Hindi

शिवी अपनी २० दिन की बेटी के साथ अपने कमरे में सो रही थी। साथ ही उनकी देखभाल के लिए उसकी जेठानी गौरी लेटी हुई थी। घोर गर्मी थी, सब ऐ . सी . चला कर आराम से सो रहे थे, क्यूंकि शिवि और बेबी अभी ऐ सी में नहीं सो सकते थे तो वो … Read more

अटूट बंधन- ऋतु गुप्ता । Moral stories in hindi

बेटा जो बुलाए मां को  चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है, स्पीकर पर काफी तेज माता के भजन चल रहे थे ,सोसायटी के सभी लोग मां की पालकी लिए हर्षोल्लाह से गाने भजन गाते हुए जा रहे थे। तभी समिति के सचिव पुनीत जी ने बिट्टू जी को आवाज़ लगाई । बिट्टू जी … Read more

छोटी छोटी बातों पर – ऋतु गुप्ता   : Moral stories in hindi

मैं जल्दी-जल्दी बाजार का काम खत्म करके बस वापिस लौट ही  रही थी कि अचानक सामने वाली दुकान पर जाना पहचाना चेहरा नजर आया । ध्यान से देखा तो स्मृति थी।आज उसके चेहरे पर एक अलग ही निखार था। धानी रंग के सूट पर महरुम कलर का दुपट्टा उसके निखार पर और चार चांद लगा … Read more

अपना हाथ जगन्नाथ – ऋतु गुप्ता : Moral stories in hindi

ये मेरी कहानी उन सभी महिलाओं को समर्पित है जिन्होंने उस कठिन समय में अपने परिवार को और ना ही केवल संभाला, बल्कि पाला भी और नए रोजगार के अवसर भी दिए। जिनकी हिम्मत और बुद्धिमता से उनका परिवार उस कठिन समय को काट सका। चलो जी उठो खाना खा लो ,सुबह से कुछ नही … Read more

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