दास्तान इश्क़ की (भाग -19)- अनु माथुर : Moral stories in hindi

अब तक आपने पढ़ा…

आदित्य राधिका को ढूँढता हुआ रेज़ॉर्ट् में पहुँचता है और राधिका उसे मिल जाती है

अब आगे…..

आदित्य को राधिका बेहोशी की हालत में मिलती है ….. वो उसे अपनी गोदी में लेकर बैठता है और सब हॉस्पिटल के लिए निकल जाते है..

राघव ने हॉस्पिटल में फोन करके पहले ही बोल दिया था …. वहाँ स्ट्रेचर लेकर वार्डबॉय , डॉक्टर और नर्स पहले ही खड़े थे ……. जैसे गाड़ी  हॉस्पिटल पहुँची  राघव गाड़ी से उतारा और उसने आदित्य का दरवाज़ा खोला वार्डबॉय ने राधिका को स्ट्रेचर पर लिया और इमर्जेंसी में ली गया…

आदित्य, राघव, कावेरी , भुवन, राजीव और लाजो सब इमर्जेंसी के बाहर खड़े हुए डॉक्टर के बाहर आने का इंतज़ार कर रहे थे……. आदित्य बेचैनी से इधर – उधर घूम रहा था

राघव ने उसे बिठाया और पानी दिया उसने कहा कुछ नही होगा भाभी को फिक्र मत करो….

कावेरी लाजो का हाथ थामे खड़ी हुयी थी… आचनक उसे चक्कर आया वो गिरने को हुयी तो लाजो ने उसे संभालते हुए कहा दीदी क्या हुआ??

राघव ने देखा तो उठ कर कावेरी के पास गया उसने कावेरी को पानी दिया और नर्स को उसे देखने को बोला…. नर्स उसे लेकर रूम में गयी….. उसने आ कर बताया कि कावेरी का बी.पी.लो  हो गया है….इसलिए उन्हें चक्कर आ गया थोड़ा रेस्ट करेंगी तो ठीक हो जायेगा

राघव ने लाजो को कावेरी के पास जाने के लिए बोला लाजो कावेरी के साथ रूम में चली गयी राघव फिर वापस आ कर आदित्य के पास बैठ गया

1 घंटे बाद डॉक्टर बाहर आए तो आदित्य उनके पास गया… और पूछा कैसी हैं वो???

डॉक्टर ने कहा –  कुँवर वो ठीक है…. उनके सिर में चोट लगी है हमने बैनडेज कर दी है ….. अभी उन्हें होश नहीं आया है थोड़ी देर में आ जायेगा….. उनके राइट हैंड  में  हेयर लाइन फ्रैकचर हुआ है तो हमने प्लास्टर कर दिया है और वो डेढ़ महीने का रहेगा…. बाक़ी उनके होश में आने पर पता चलेगा….

आदित्य ने कहा हम देख सकते हैं उन्हें?

अभी उनको रूम में शिफ्ट कर दे उसके बाद लेकिन आप बाहर से देख सकते है..

आदित्य ने हम्म कहा.

कुछ देर राधिका को रूम में शिफ्ट कर दिया था ….. आदित्य ने रूम के बाहर लगे हुए शीशे में से देखा राधिका के सिर पर पट्टी बंधी हुयी थी  और हाथ में प्लास्टर था……

आदित्य को बहुत तेज़ गुस्सा आया वो तेज़ कदमों से चलता हुआ बाहर गया … राघव भुवन और राजीव ने उसे जाते हुए देखा तो भाग कर उसके पीछे गए

आदित्य ने गाड़ी का दरवाज़ा खोला राघव ने उसे आवाज़ दी — आदि कहाँ जा रहे हो रुको….. राघव दौड़कर उसके पास पहुँचा

मैं मार डालूँगा विक्रम और दिनेश को क्या हाल कर दिया राधिका का आदित्य ने गुस्से में अपना हाथ गाड़ी पर मारते हुए कहा

आदि उनको हम बाद में देख लेंगे – अभी तुम अंदर चलो भाभी को तुम्हारी ज़रूरत है… राघव उसे खींचते हुए वापस ले जाने लगा 

आदित्य राघव के कहने पर थोड़ा शांत हुआ और उसके साथ वापस अंदर आ गया

भुवन ने हॉस्पिटल में बात करके एक रूम ले लिया था….. राघव और बाक़ी सब उसमें बैठे हुए राधिका के होश में आने का इंतज़ार कर रहे थे….

आदित्य बार- बार जा कर राधिका को देख कर आ जाता था…रात के 10 बज रहे थे लेकिन राधिका को होश नहीं आया था… आदित्य ने  डॉक्टर को फोन किया कि राधिका को होश नहीं आ रहा है…… डॉक्टर राधिका को चेक करने के लिए गये उन्होंने उसे चेक किया और  आदित्य को बताया कि सब ठीक है राधिका को कुछ देर में होश आ जायेगा….

कावेरी भी अब ठीक थी …..एक घंटे बाद राधिका ने हल्की सी अपनी आँखें खोली नर्स ने देखा तो उसने बेल बजा कर डॉक्टर को बुलाया……..डॉक्टर आए और उन्होंने राधिका को चेक किया राधिका ठीक थी… उन्होंने बाहर आ कर आदित्य को बताया कि राधिका ठीक है…आप मिल सकते है जा कर लेकिन  उन्हें आराम की ज़रूरत है तो बहुत देर उनके पास ना रुके …

आदित्य ,राघव और कावेरी राधिका से मिलने के लिए रूम में गए….. कावेरी राधिका के पास गयी राधिका को देखकर

उसकी आँखों में आँसू आ गए उसने राधिका का हाथ अपने हाथ में लिया और पूछा – कैसी हो राधिका?

राधिका ने अपनी पलकें बंद कर के ठीक हूँ बताया…

राघव ने भी आगे बढ़कर राधिका से पूछा कि  वो कैसी है???

राधिका ने अपना हाथ उठा कर इशारा किया कि वो ठीक है

भुवन और लाजो भी राधिका से मिलने के लिए आए…. लाजो ने राधिका से कहा – ठाकुराइन आप जल्दी से घर आ जाओ फिर मैं आपकी देखभाल करूँगी…..

सबने देखा राधिका कि आँखें किसी को खोज रहीं हैं….. आदित्य डॉक्टर से बात करके अंदर आ रहा था…. कावेरी ने देखा आदित्य आ रहा है तो राघव को कहा – चले हम बाहर चलते है ….. सब रूम से बाहर आ गए राघव ने जाते – जाते आदित्य के कंधे पर हाथ रखा रूम का दरवाज़ा बंद किया और बाहर आ गया…

आदित्य राधिका की तरफ बढ़ा राधिका उसे ही देख रही थी

वो चेयर लेकर राधिका के पास बैठ गया उसने राधिका का हाथ अपने हाथ में लिया और उसको देखने लगा… दो बूँद आँसू की उसके आँखों से निकल कर राधिका के हाथपर गिर गयी….

आदित्य का सिर नीचे था राधिका ने अपने दूसरे हाथ से आदित्य के सिर को सहलाया ,…… आदित्य की आँखों में आँसू भरे हुए थे उसने भरे हुए गले से कहा – माफ कर दें हमें आपको ढूँढने में हमने इतनी देर लगा दी और ये सब हो गया ……उसने  राधिका की हथेली की तरफ देखा उसमे रगड़ के निशान थे जो कुछ छिल गए थे  आदित्य ने पूछा – आपको दर्द हो रहा होगा आप आराम करिए हम यहीं है  वो उठा और झुक कर उसके माथे को चूमा ….उसकी ओढ़ी हुयी चादर को ठीक से किया और बाहर आ गया…

बाहर आकर आदित्य ने भुवन से कहा – ” हम रात को यहीं रुकेंगे आप सेक्योरिटी का इंतज़ाम कर दें….. राघव कावेरी और लाजो को लेकर घर जाओ और वहीं रुको जब तक राधिका का ठीक नही हो जाती….. इनकी ज़िम्मेदारी तुम पर है..

राघव ने ठीक है बोला और दोनों को लेकर घर चला गया…..भुवन ने सिक्योरिटी बहुत टाइट कर दी थी

आदित्य वापस राधिका के रूम में चला गया…… उसने देखा राधिका सो गयी है

वो वहीं थोड़ी दूर पर रखे हुए बेड पर बैठ गया उसने अपने मोबाइल से एक नंबर डाइल किया

उदर से फोन उठाते ही आवाज़ आयी

जी कुँवर…

केशव आपको एक काम करना है …

हाँ बोलें कुँवर

आपको विक्रम और  दिनेश दोनो पर नज़र रखनी है… वो क्या करते हैं??कहाँ जाते है किससे मिलते है???हर बात की इंफोर्मेशन मुझे चाहिए

इसके साथ ही ओम ठाकुर और सुधीर सिंह के बारे में भी मुझे खबर चाहिए पल पल की…. और इनके सब मिलने वालों की भी …

जी कुँवर….आपको सब दो दिन में पता करके बताता हूँ..

ठीक है…..

आदित्य बहुत देर तक राधिका को देखता रहा और फिर पता नही कब उसकी आँख लग गयी

अगली सुबह राधिका की आँख खुली तो उसने देखा आदित्य सोया हुआ है…. तभी दरवाज़े पर दस्तक हुयी एक नर्स ट्रे में राधिका की दवाई और चाय ले कर आ रही थी….. उसने कहा –

गुड मोर्निंग मैम…. कैसी हैं आप?

गुड मोर्निंग…. मैं ठीक हूँ राधिका ने जवाब दिया

नर्स ने उसके आगे चाय रखी और उसे  बिस्कुट दिए..

नर्स ने कहा आप ये खा लें फिर मैं आपकी फ्रेश होने में हेल्प कर दूँगी

राधिका ने चाय पी दवाई खायी…… फिर नर्स की हेल्प से तैयार हो गयी आदित्य अभी भी सो रहा था… नर्स ने राधिका को रेस्ट करने को बोला और चली गयी…..

कुछ देर बाद जब सूरज की रोशनी पर्दों से आकर  आदित्य की आँखों पर पड़ी तो उसके आँखें खुली… उसने अपनी अधखुली आँखों से देखा राधिका लेटी हुयी थी….

वो उठा और राधिका के पास गया उसने मुस्कुराकर पूछा कैसी तबियत है आपकी अब?

राधिका ने कहा – ठीक हूँ

आदित्य जाने लगा तो राधिका ने उसका हाथ पकड़ लिया आदित्य ने उसकी तरफ देखा तो राधिका ने उसे बैठने का इशारा किया…… आदित्य उसका हाथ अपने हाथों में लिए वहीं रखी हुयी चेयर पर बैठ गया

राधिका ने कहा  –  हमारी वजह से आप बहुत परेशान हुए ना ?

आदित्य ने अपनी गर्दन हिला कर नही कहा

राधिका उठने लग तो आदित्य ने उसे लेटे रहने के लिए कहा…..

आदित्य ने कहा – आपकी वजह से हम परेशान नहीं हुए बल्कि हमारी वजह से आपको ये सब हुआ…. आप आराम करें हम आते हैं

आदित्य बाहर आ गया…. उसने राघव को फोन किया और अपने कुछ कपड़े लाने को बोला राघव ने उसे कहा वो हॉस्पिटल के लिए आ ही रहे है और उसने सारा सामान रख लिया है….

आदित्य वापस आ कर राधिका के पास बैठ गया…

कुछ देर में राघव, कावेरी, भुवन और लाजो सब आ गए

राधिका को आदित्य ने सहारे से बैठा दिया था….

राघव कमरे में आया और बोला – गुड मॉर्निंग भाभी कैसी हैं आप?

गुड मॉर्निंग राघव जी ठीक है आप कैसे है??

बस बढ़िया हैं भाभी

कावेरी ने आ कर राधिका को गले से लगा लिया और लाजो ने भी

राघव ने आदित्य को कपड़े दिए और वो वॉशरूम में चल गया

कावेरी और लाजो ने तब तक नाश्ता लगा दिया था ….

आदित्य फ्रेश हो कर आया कावेरी और लाजो ने नाश्ता लगाया सबने नाश्ता किया आज राघव को ऑफिस में काम था तो वो कावेरी को अपने साथ ले जा रहा था….

आदित्य ने भुवन से लाजो को घर ले जाने को बोला और वहीं पर रुकने को बोला आदित्य ने सेक्योरिटी को भी टाइट करने के लिए बोला…. भुवन लाजो को लेकर घर गया लंच के लिए आदित्य ने मना कर दिया था…. शाम को लाजो को खाना लाने को बोल दिया था

राधिका को डॉक्टर चेक करने आए तो आदित्य ने पूछा – कैसी हैं ये?

डॉक्टर ने कहा -” ठीक है रिकवरी में थोड़ा टाइम लगेगा बाक़ी सब् ठीक है..

डॉक्टर हम कब इनको घर ले कर जा सकते है?आदित्य ने पूछा

बस दो दिन बाद आप इनको ले जा सकते है

थैंक यू डॉक्टर ….आदित्य ने कह

डॉक्टर के जाने के बाद आदित्य ने राधिका को लिटा दिया और  चेयर पर बैठकर लेपटॉप पर अपना कुछ काम करने लगा …. राधिका कुछ देर में सो गयी 

दोपहर के वक़्त नर्स खाना ले कर आयी आदित्य ने भी कैंटीन से खाना ऑर्डर कर दिया था  … नर्स राधिका को खाना दे कर चली गयी….

राधिका के राइट हैंड में फ्रैक्चर हुआ था इसलिए वो खाना नहीं खा पा रही थी आदित्य उसके पास गया और बोला – हम खिला देते हैं आपको

आदित्य ने जैसे ही राधिका को खाना खिलाया उसने बुरा सा मुह बनाया और बोली – ये खाना है?? बिल्कुल फीका है कोई टेस्ट ही नहीं है मुझे नहीं खाना

आदित्य ने कहा – दवाई की वजह से आपको टेस्ट नहीं आ रहा होगा अभी खा लें आप शाम को लाजो ले कर आएगी खाना

नहीं ये बिल्कुल अच्छा नहीं है मैं नहीं खा रही

राधिका…..

कुँवर आप खा कर देखें ना बिल्कुल बेस्वाद है खाना..

आदित्य ने खाना खा कर देखा तो वो ठीक था…. उसने राधिका से कहा – आप कोई एक चीज़ बोले मैं मंगा देता हूँ लेकिन ये खाना खाना पड़ेगा…कल से आपके लिए हम घर से ही खाना मंगवा देंगे

राधिका ने कहा – एक ही

हाँ एक ही आदित्य ने कहा

ठीक है तो आप मेरे लिए  छोले भटूरे मंगा दें

राधिका…कैसी बातें कर रहीं हैं आप??

अरे मैं कोई इतना बीमार नहीं हूँ…. फ्रैक्चर है इसमें तो खाना खा सकते है कोई मनाही नहीं होती

तो फिर हॉस्पिटल वालो ने ये खाना क्यों दिया है वो भी आपको छोले भटूरे दे सकते थे ना??

उनको सबको एक सा खाना देना होता है इसलिए राधिका ने कहा

आदित्य ने सांस भरी और बोला ठीक है मैं कैंटीन से मंगवा देता हूँ लेकिन आप एक ही भटूरा खायेंगी और बाद में ये सारा खाना फिनिश करेंगी

दूसरा कौन खायेगा??

मैं…आदित्य ने मुस्कुराते हुए कहा और छोले भटूरे का ऑडर दे दिया

राधिका मन में ही बोली – खुद अच्छा खाना खा रहे है और मुझे बेकार सा खाना खाने को दे रहे है और उस पर भी एक भटूरा खाने को देंगे…. ठीक होने दें मुझे फिर बताऊंगी मैं भी बिना स्वाद का खाना बनाऊँगी सोच कर राधिका मुस्कुराने लगी

मेरे लिए बेकार खाना बनाने का प्लैन कर लिया हो तो खाना खा लें आ गए आपके छोले भटूरे… आदित्य ने उसके पास आते हुए कहा

राधिका ने मुस्कुराना बन्द किया और आदित्य की तरफ देखने लगी.. इनको सब पता चल जाता है अंतरयामी है ये

आदित्य मुस्कुरा रहा था… उसने राधिका को खाना खिलाया खुद भी खाया राधिका को दवा दी और उसे लेटने का बोल कर बाहर चला गया

शाम को कावेरी राघव के साथ हॉस्पिटल आ गयी थी सब लोग बैठ कर बातें कर रहे थे तभी भुवन और लाजो दोनों एक साथ रूम में आए

ओहो क्या बात है आज भुवन और लाजो जी एक साथ – राघव ने भुवन को छड़ते हुए कहा तो भुवन लाजो से दूर हट कर खड़ा हो गया…

लाजो ने मुस्कुराते हुए राधिका से पूछा – अब कैसी हैं आप? राधिका ने थोड़ा सा उदास होते हुए कहा – ठीक हूँ

लाजो ने पूछा क्या हुआ आप उदास लग रहे हो ठाकुर जी से लडाई हो गयी क्या  ?

हाँ लडाई ही समझो लाजो…. आदित्य ने कहा

लो ये क्या बात हुयी ठाकुर  जी एक तो ठाकुराइन की तबियत ठीक नहीं हैं ऊपरसे आपने लडाई कर ली

हाँ तो ये खाना नहीं खा रहीं थी क्योंकि वो इन्हें पसंद नहीं आया तो छोले भटूरे मंगवाए इनके लिए…. आदित्य ने कहा

उसमें से एक ही खाया मैंने राधिका बीच में ही बोल पड़ी

हाँ तो आपके लिए खाना आया था ना फिर ??

फिर क्या?? राधिका ने गुस्सा होते हुए कहा

ओहो बस करें आप दोनों क्या बच्चों की तरह लड़ रहे हैं – कावेरी ने कहा

आदित्य और राधिका दोनों चुप हो गए

कावेरी ने लाजो से कहा – लाजो ये लोग तो लड़ते ही रहेंगे तुम खाना लगाओ

लाजो खाना परोसने लगी….

राधिका को आदित्य खाना खिला रहा था  राधिका ने जैसे ही एक कौर खाया वो बोली वाह क्या खाना बनाया है लाजो मज़ा आ गया

हाँ ये बात तो सही है भाभी खाना तो लाजो जी  लाजवाब बनाती है इनकी शादी जिस से भी होगी वो बड़ा खुशनसीब होगा रोज़ इतना बढ़िया खाना खाने को मिलेगा कहते हुए राघव ने मुस्कुरा कर भुवन की तरफ देखा जो इस वक़्त राघव को ही देख रहा था

सबने खाना खाया आदित्य ने भुवन को लाजो को वापस घर ले जाने के लिए और उसका ध्यान रखने के लिए बोला…… अगले दिन sunday था ऑफिस की छुट्टी थी राघव और कावेरी अभी हॉस्पिटल में ही थे कावेरी का मन था राधिका के पास थोड़ी देर रुकने का इसलिए राघव भी रुका हुआ था  !!!

आशा करती हूँ कहानी का ये भाग आपको पसंद आया होगा… जल्दी ही नये भाग के साथ फिर मिलूँगी …..

अगला भाग

दास्तान इश्क़ की (भाग -20)- अनु माथुर : Moral stories in hindi

धन्यवाद

स्वरचित

कल्पनिक कहानी

अनु माथुर 

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