स्नेह का बंधन – निमिषा गोस्वामी  : Moral Stories in Hindi

आखिर वो दिन आ ही गया जिसका सभी को वर्षों से इंतजार था।हां आज सरिता और मधुर की बेटी की शादी है। सरिता ने मधुर की तरफ देखा मधुर की आंखें भरी हुई थी। सरिता ने अपने पति के कंधे पर हाथ रखते हुए कहा सुनो जी मधुर ने अपने हाथों से आंसुओं को पोंछते … Read more

स्नेह का बंधन – वीणा सिंह : Moral Stories in Hindi

कल तक अम्मा के चेहरे पर बड़ी सी बिंदी सिंदूर की गाढ़ी रेखा लाल चूड़ियों से भरी कलाई पैर में पायल बिछिया और महावार और सीधे पल्ले की कभी लाल पीली हरी साड़ी उनके मुख मंडल की आभा को द्विगुणित कर रही थी, आज दस दिनों तक जीवन मृत्यु के बीच चलने वाली रस्साकसी में … Read more

भैया से मायका या भाभी से? – रोनिता कुंडु  : Moral Stories in Hindi

क्या हुआ सोनम? तुम अभी तक तैयार नहीं हुई? भतीजे का नामकरण है और बुआ ही सबसे आखिर में पहुंचे अच्छा लगता है क्या? मनोज ने कहा  सोनम:  सच कहूं, मां पापा के बिना उस घर में अब जाने का मन बिल्कुल भी नहीं होता। पहले मां चली गई फिर पापा का सहारा था, अब … Read more

प्यारा सा रिश्ता – संगीता अग्रवाल : Moral Stories in Hindi

“आंटी यहाँ कोई कमरा किराये पर मिलेगा क्या ?” धूप मे बैठ ऊंघ रही सविता अचानक एक मधुर आवाज़ से हड़बड़ा कर जागी।  ” आआआ ..कमरा हां मिल जायेगा पर कितने लोग रहेंगे ?” सविता ने अपनी हड़बड़ाहट और नींद पर कुछ काबू पाते हुए पूछा।  ” जी आंटी बस मुझे ही रहना है असल … Read more

माँ का त्याग – चाँदनी झा : Moral Stories in Hindi

“आपकी माँ को एक बच्चा तक संभालना नहीं आता, और आप गाँव से इनको लेकर आए हैं, मेरे सहयोग के लिए, ये मेरी मदद क्या करेंगी? उल्टा एक आदमी का काम भार बढ़ गया है मेरा। इन्हें गाँव भेज दीजिए, कोई काम की नहीं हैं ये, कहाँ मेरी माँ, कहाँ ये??” झुंझलाते हुए, आरती ने … Read more

स्नेह का बंधन – डॉ अनुपमा श्रीवास्तवा : Moral Stories in Hindi

“माई तू मेरे माथे पर अपना हाथ रख और खा मेरी कसम कि तू अबसे खाने के वक़्त नहीं रोयेगी।”  पटिया पर लेटी माई को उसने  सहारा देकर उठाया और प्यार से बोला-“देख तो मैंने तेरे लिए ही आटे का हलूआ बनाया है। थोड़ी जल गई है पर तुझे चबाने में तकलीफ होती है न … Read more

स्नेह का बंधन – मनीषा सिंह : Moral Stories in Hindi

पिछले ‘एक साल’ से बोल रहा हूं  “मां” चलो हमारे साथ•• ! ‘ पापा की बरसी ‘भी खत्म हो गई•• अब तो मुझे बेटा होने का फर्ज निभाने दो••और अपनी सेवा का मौका दो•• ! पापा भी नहीं रहे•• एक गहरी सांस छोड़ते हुए•• कम से कम तुम अगर हमारे साथ रहोगी तो हमें अच्छा … Read more

स्नेह का बंधन – सुनीता माथुर : Moral Stories in Hindi

अक्षिता बहू तुमने नाश्ता तो बहुत अच्छा बनाया जाकर अपने घर के नीचे के पोर्शन में चार किराएदार रहते हैं, उनमें से एक सरला बहन हैं—- जो कोने के मकान में रहती हैं! तुम जाकर उनको थोड़ा सा नाश्ता देआओ बेचारी अकेली रहती हैं—— उनके पति को गुजरे अभी 1 साल ही हुआ है उनके … Read more

स्नेह का बंधन – शीतल भार्गव : Moral Stories in Hindi

“ अरी ओ मनहूस कहाँ मर गई , बहरी हो गई क्या, इतना सारा काम पड़ा है ये काम तेरा बाप आकर करेगा । शुभी अपने कमरे में सब सुन रही थी अपनी सास के ताने, ये सब उसके लिए कोई नई बात नहीं थी वह आंसू बहाकर रह जाती थी यह सोचकर की कभी … Read more

‘ स्नेह का बंधन’ – पूजा शर्मा : Moral Stories in Hindi

कुछ …मेरे ही…करम रहे होंगे ….जाने किस ..करम की सजा दे ….रहा है भगवान मुझे, अपने आप…..तो चले गए ……ठाकुर साहब मुझे जाने……क्यों नहीं बुलाते …अपने पास? सांसों की तार कोई धागा …तो नहीं… जो मैं खींच कर तोड़ दूं। कहते कहते आंखों से अविरल अश्रु धारा चल पड़ी उनकी आंखों से। बड़ी मुश्किल से … Read more

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