सफ़र मुहब्बत का (भाग -3) : Moral Stories in Hindi

अब तक आपने पढा …

गौरव अपने एक employ को काम से निकाल देता है और उसका बिज़नेस पर्टनर राहुल गोवा से वापिस आ जाता है

अब आगे…..

राहुल गौरव से रस्तोगी जी की पार्टी में जाने की बात करता है…. गौरव जाने के लिए हाँ बोलता है तभी उसका फोन बजता है वो राहुल को फोन दिखाते हुए बोलता है…

“लो आ गया फोन शैतान का नाम लो और वो हाज़िर “

गौरव मुस्कुराया और बोला  हैलो… कणिका

हैलो गौरव.. कैसे हो आप ? और आ रहे हो ना पार्टी में?

हाँ…

कितने बजे तक आओगे आप?

ऑफिस से फ्री हो कर

Ok… तो मिलते है शाम को

Byee

Bye

” मुझे ये समझ नहीं आता ये इतने लार्ज स्केल  पर बिर्थ डे पार्टी करने का क्या तुक है? ” गौरव ने कहा

” कोई तुक -वुक नही है बस यूँ हीं अपनी शान दिखानी है और अपने बिज़नेस को बढ़ाने का तरीका है ” राहुल ने कहा

“यहीं से चलोगे या घर जाकर ?” उसने फिर पूछा

“यहीं से और जल्दी आ जायेंगे मैं कल एक मीटिंग के लिए गया था… वहाँ सुबह आया इसलिए ज़्यादा देर मैं रुकूँगा नहीं |”

आज डेविड आया है तुम्हें ले कर… ?

हाँ… वो किशन की माँ की तबियत ख़राब है वो आयेगा नही दो चार दिन |

अच्छा ठीक है…. तो मिलते है… मैं अपने केबिन में हूँ..

गौरव ने सिर हिला कर हाँ कहा

आठ बजे के क़रीब गौरव और राहुल रस्तोगी जी की पार्टी में पहुँचे  |   गौरव के पार्टी में पहुँचते ही उसके आस – पास उस से मिलने वाले लोग आने लगे कुछ अपने बिजनेस के सिलसिले में और कुछ बस गौरव से बात करने में……. इसी बीच उस भीड़ में एक मीठी सी आवाज़ सुनायी दी….

वेलकम  गौरव एंड राहुल

गौरव ने उस तरफ देखा तो एक बहुत खूबसूरत सी लड़की…जिसने ब्लू कलर का गाउन पहना हुआ था …. उसकी तरफ आ रही थी….. उसने पास आकर गौरव का हाथ पकड़ा और एक्सक्युज़ मी कहते हुए उस उस भीड़ से निकाल कर बाहर ले आयी…. और उसे रस्तोगी जी के पास ले गयी ये कणिका थी रस्तोगी जी की बेटी |

गौरव…. रस्तोगी जी ने उसे पुकारा

गौरव मुस्कुराया और उनसे मिलाने के लिए अपना हाथ आगे बढ़ाया और बोला….. हैप्पी बिर्थडे सर …..

रस्तोगी जी ने भी मुस्कुराकर उस से हाथ मिलाया और कहा थैंक यू… ये बिर्थडे तुम्हारे आने से और भी हैप्पी हो गया …. दीनदयाल जी नही आए?

जी….वो रात में कम ही बाहर जाते है |

अच्छा…..

कोई हमसे भी मिलेगा कहते हुए मिसेज़ रस्तोगी उसी तरफ आ रही थी ….

गुड इवनिंग मैम

कैसे हो गौरव….? उन्होंने पूछा

जी मैं अच्छा हूँ आप?

ये भी अच्छी है  ……पापा मम्मी आप मिल लिए ना गौरव से अब मैं ले जा रही हूँ…..गौरव चलो ना मैं तुम्हें अपने कुछ दोस्तों से मिलती हूँ….. कणिका ने खुश होते हुए कहा  और गौरव का हाथ पकड़ कर अपने दोस्तों की तरफ ले जाने लगी … कणिका ने अपने सारे दोस्तों से गौरव को मिलवाया |

रस्तोगी जी ने केक कट किया….सबने ताली बजायी और उनको हैप्पी बिर्थडे  बोला …….लोग बजते हुए गाने की धुन डांस करने लगे….. गौरव और राहुल भी एक टेबल पर जा कर बैठ गए……

गौरव और राहुल ड्रिंक नही करते थे  इसलिए उन्होंने  जूस का ग्लास हाथ में लिया हुआ था….. तभी कणिका उसके पास आयी और अपना हाथ उसकी तरफ बढ़ा कर बोली…..मे आई डांस विद यू ……गौरव मुस्कुराया उसने  उसके हाथ पर अपना हाथ रखा जूस का ग्लास उसने राहुल की तरफ सरकाया और इशारे में ही उसे कुछ कहा… राहुल मुस्कुराया उसने अपनी पलकों को झपका कर हाँ में जवाब दिया.

गौरव और कणिका डांस फ्लोर पर गाने की धुन पर डांस करने लगे… गौरव ने कणिका को अपने हाथ पर घुमाया और  उसके ठीक पीछे खड़े हुए राहुल को देख कर मुस्कुराया गौरव ने कणिका का  हाथ राहुल के  हाथ में दे दिया……. कणिका ने उसे देखा तो वो बाय करता हुआ वहाँ से बाहर की तरफ जा रहा था………

डेविड ने गौरव को जाते हुए देखा तो वो भी उसके पीछे – पीछे बाहर आ गया…..गौरव पार्किंग की तरफ ना जा कर होटल से बाहर निकल आया….. डेविड ने पार्किंग से गाड़ी निकली और होटल के गेट पर आ गया…. गौरव सड़क के किनारे चल रहा था…

डेविड गाड़ी लेकर उसके पास आ गया और उतर कर बोला – बैठिए सर

गौरव ने उसकी तरफ देखा और बोला – कुछ दूर चलना चाहता हूँ मै

ओके सर… कह कर डेविड गाड़ी में बैठा और गौरव के पीछे चलने लगा

राहुल ने डेविड को फोन करके पता किया कि गौरव कहाँ है तो उसने बताया कि सर होटल के बाहर हैं और वॉक कर रहे हैं

राहुल कणिका को डांस फ्लोर पर छोड़ कर तेज़ कदमों से चलता हुआ होटल के बाहर आ गया…

उसने गौरव को दूर से देखा और उसकी तरफ जाने लगा……. सड़क के किनारे गौरव ने देखा एक माँ अपने छोटे से बच्चे को चादर से ढ़कने की कोशिश कर रही थी लेकिन चादर छोटी होने के कारण वो पूरी तरह से उसको ढक नही पा रही थी… मौसम में थोड़ी सी ठण्डक थी |

गौरव उसके पास गया उसने अपना कोट उतरा उसके पास बैठा और उसे कोट उढ़ा दिया …… उस महिला ने गौरव की तरफ देखा और अपने हाथ जोड़ लिए….. गौरव वहाँ से उठा और आगे बढ़ गया……. राहुल ने पीछे से उसके कंधे पर हाथ रखा गौरव मुड़ा तो उसने राहुल को देखा….. राहुल ने देखा उसकी आँखों में आँसू थे….

राहुल ने उसे अपनी तरफ खींचा और गले से लगा लिया….. गौरव ने उसके गले से लगे हुए अपनी आँखे बन्द कर ली….. उसकी आँखों से आँसू बहे जा रहे थे..

राहुल उसकी पीठ सहला रहा था….थोड़ी देर बाद दोनों अलग हुए… डेविड ने गाड़ी का दरवाज़ा खोला राहुल और गौरव  गाड़ी

में बैठे और घर की तरफ जाने लगे…..

अगली सुबह हर रोज़ की तरह दीनदयाल जी और शांति जी और गौरव बैठे हुए नाश्ता कर रहे थे……

एक नौकर ने आ कर कहा…. साहब कमिशनर साहब आए हैं….

दीनदयाल जी ने उस नौकर को कमिशनर साहब को बैठाने को और शांति जी से बोल कर चाय नाश्ता देने को बोला |

थोड़ी देर बाद…

गुड मॉर्निंग  सर

गुड मॉर्निंग  कमिशनर साहब कैसे है आप?

जी मैं बिल्कुल ठीक हूँ…. आप?

हम भी ठीक है…..बैठिए आप

जी कह कर कमिशनर साहब और उनके साथ आए लोग भी बैठ गए

आपने गौरव सर  के लिए जो सेक्योरिटी की बात की थी उसका इंतज़ाम हो गया है |

अच्छा बहुत बढ़िया बात है ये तो… कौन है बताएं?

कमिशनर  साहब के साथ दो कांस्टेबल और एक लेडी ऑफिसर भी थी

सर ये हैं मिस अनुराधा सिंह  उन्होंने लेडी ऑफिसर की तरफ इशारा कर के कहा अनुराधा ने खड़े होकर दीनदयाल जी का अभिवादन किया |

गौरव उसी तरफ आ रहा था उसने जब ये सुना तो दीनदयाल जी से कहा….. दादाजी ये सब क्या है… डेविड , किशन और बाक़ी सेक्योरिटी है ना फिर ये सब किसलिए?

ये इसलिए कि तुम यूँ सड़कों पर अकेले नही घूमो

दीनदयाल जी की इस बात पर गौरव ने डेविड की तरफ घूर कर देखा तो डेविड ने नज़रें नीची कर ली

डेविड को मत देखो …. और इस मामले में मैं कुछ सुनना  नहीं चाहता |

गौरव चुप हो कर वहीं बैठ गया…. तब तक शांति जी भी वहीं आ गयी |

दीनदयाल जी ने कहा लेकिन ये यहाँ कैसे रहेंगी ?

सर वो कोई बात नही है मेरी बात इनसे हो गयी है

गौरव ने कहा -” कमिशनर साहब आपके यहाँ मेल ऑफिसर नहीं है क्या जो एक लेडी ऑफिसर को आप इस तरह की ज़िम्मेदारी दे रहे है “

उसकी इस बात पर अनुराधा उठने को हुयी तो कमिशनर साहब ने उसे नीचे बैठने का इशारा किया |

वो बोले   ” सर ऐसी कोई बात नही है…दरसल मिस अनुराधा ने वो सारे टेस्ट पास किए जो इस जॉब की ज़रूरत है…. बस इसलिए हमने इनको आपकी सेक्योरिटी के लिए सेलेक्ट किया है |

लेकिन इनको यहाँ रहना पड़ेगा….. शांति जी ने कहा

जी.. इनको पता है

ठीक है अगर आप कहते है तो हम गौरव की सेक्योरिटी का ज़िम्मा इनको देते है….

गौरव ने एक नज़र अनुराधा को देखा और बोला – गाड़ी निकालो डेविड… और तेज़ कदमों से बढ़ता हुआ बाहर निकल गया |

आशा करती हूँ कहानी का ये भाग आपको पसंद आया होगा

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भाग – 2 का लिंक

सफ़र मुहब्बत का (भाग -2) : Moral Stories in Hindi

 

धन्यवाद

स्वरचित

कल्पनिक कहानी

अनु माथुर

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