मैडम – अनुपमा

रफ्तार से भरी सड़क पर अचानक से एक छोटी बच्ची को देख मैडम घबरा गई और दौड़ कर उसे गोद मैं उठा लिया , साथ ही चारो तरफ देखने लगी की किसने इसे मरने को बीच रास्ते पर छोड़ दिया ,देखा पास ही मरणासन्न स्तिथि मैं अर्धनग्न औरत पड़ी है ,जिंदा है भी की नही पता नही , शायद बच्ची उसकी ही है , मैडम ने बच्ची से पूछा तो वो तो बस रोए जा रही थी , मैडम उस औरत के पास गई तो बच्ची झट से उससे लिपट गई , शायद बच्ची खेलते खेलते सड़क के बीच पहुंच गई थी और मां को तो होश ही नहीं था ऐसा मैडम ने अनुमान लगाया , औरत की स्तिथि देखकर कुछ तो अनुमान लगाया जा सकता था की अच्छी हालत मैं नही थी वो औरत , लगता था 

किसी ने फायदा उठाया था उसका , मैडम ने फौरन ही फोन करके अपनी साथी चंपा और रोजी को बुलाया जो पास ही के चौराहे पर कुछ सामान कार वालों को बेच रही थी और उसे लेकर घर आ गई , बच्ची को खाना खिला कर सुला देने के उपरांत औरत के भी घाव साफ करके उसे दूसरे कपड़े पहना कर लिटा दिया । मैडम ने देखा की वो औरत बेहोशी मैं भी बहुत खूबसूरत दिख रही थी , वो सोचने लगी की अजब दस्तूर है दुनिया के भी , औरत की सुंदरता ,उसका अकेला होना ही उसे दूसरों के लिए उपभोग की वस्तु बना देता है कैसा समाज है ये जो इंसान को नही उसकी धर्म जाति रूप रंग जेंडर को देख कर उसके साथ व्यवहार करता है प्रताड़ित और सम्मानित करता है ,उसे याद है की जिस झुग्गी मैं वो रहती थी उसकी मां के मरने के बाद कैसे उसके ही चाचा ने उसका दैहिक शोषण किया था और सड़कों पर भीख मंगवाई थी , एक दिन उसे बड़ी मैडम मिल गई थी भीख मांगते वक्त ,जिस्म पर नोचे हुए निशानों को देखकर बात की थी उन्होंने उससे और सबकुछ जानकर अपने साथ चलने को बोला था और वो भी यही सोच कर साथ आ गई थी की जो हो रहा था


उसके जीवन मैं उससे बुरा और क्या हो जायेगा । बड़ी मैडम के साथ जब वो आई तो उसे अपनी ही जैसे बहुत लोग मिले उनके यहां , उन सबको बड़ी मैडम सिखाती थी कैसे किन्नरों की तरह चलना बोलना हंसना सजना है और साथ ही सबको कुछ न कुछ काम भी सिखाती थी जिसे वो लोग चौराहे पर बेच सके , कोई गजरा बनाता था कोई कपड़े की रबड़बैंड कोई रंगबिरंगी माला बनाता था कोई कढ़ाई वाला रुमाल ,मैडम ने उससे पूछा क्या वो बहरूपिया बन कर रहना चाहती है या वापिस जाना चाहती है तो उसने वहां रहना सहर्ष ही स्वीकार कर लिया था और मैडम ने उसका नाम मंजू से मिन्नो रख दिया था और जल्द ही वो मैडम के बताए सारे गुणों मैं पारंगत हो गई थी जब बड़ी मैडम की रोड ऐक्सिडेंट मैं अचानक मृत्यु हुई तो समूह की बाकी लड़कियों और किन्नरों ने उसे ही मैडम का दर्जा दे दिया ।

अचानक से कुछ आवाज होने से मैडम की तंद्रा भंग हुई तो देखा वो औरत पानी मांग रही थी , मैडम ने उसे पानी दिया और साथ ही कुछ खाने को भी , उसके पति कहीं गायब हो गया था महीनों से घर नही आया था तो ससुर ने उसके साथ जबरदस्ती की तो वो अपनी बच्ची को लेकर वहां से भाग आई थी ,उसकी आपबीती सुनने के बाद मैडम ने भी उससे वही पूछा जो कभी बड़ी मैडम ने उससे पूछा था , अब वो औरत भी सबके साथ सीख रही थी कैसे चलते हंसते बोलते है किन्नरों की तरह  ।

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