बड़ी बहू : Moral Stories in Hindi

बड़ी बहू…..बड़ी बहू….. ये आवाज सुनते ही राशि अपने हाथ का काम छोड़कर आंगन में बैठी अम्मा की ओर दौड़ी जो सब्जी वाले से सब्जियां ले रही थी। उसे देखते ही अम्मा चिल्लाई, ‘ थोड़ा और देरी से आ जाती, कब से सास चिल्ला रही है, पर तुझे तो परवाह ही नहीं है, कहां रह … Read more

बड़ी भाभी – के कामेश्वरी : Moral Stories in Hindi

गिरिजा रसोई में खाना बनाने में व्यस्त थी क्योंकि उसे आज कम से कम आठ लोगों के लिए टिफ़िन बाँधनी थी क्योंकि आज से ही स्कूल कॉलेज खुल गए थे । ननद के दो बेटे और दूर के रिश्तेदार के दो बेटे तथा उसके खुद के दो बच्चे पति और उनके मुँह बोले भाई आए … Read more

जेवर प्रेम – वीणा कुमारी : Moral Stories in Hindi

आकाश के ऑफिस जाते ही रिया सारे काम निपटा कर फ्री हुई ही थी कि सुमन का कॉल आ गया–हाय रिया क्या कर रही हो? कुछ नहीं यार अभी आकाश के जाने के बाद सारे काम करके फ्री हुई हूं. बस चाय बनाने ही जा रही थी . तो यही आ जाओ ना, साथ मिलकर … Read more

मुन्नी बाई और सरसों का साग – संध्या त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi

      अब तू कॉलबेल बजा कर , घर से बुलाकर सब्जी बेचेगी मुन्नी बाई……कढ़ाई में तेल चढ़ाई हूं जल जाएगा ……अच्छा बता क्या है …..?  आराधना ने  खीझते हुए पूछा …. मेमसाहब सरसों का साग है… ले लीजिए…. अरे नहीं नहीं मुन्नी बाई , आज नहीं लूंगी ….थोड़ा जल्दी में हूं और वैसे भी कौन बीनेगा … Read more

बड़ी बहू – मधु वशिष्ठ : Moral Stories in Hindi

बचपन से ही ताई का रुबाब देखा था मम्मी तो मम्मी दादी भी उनकी बात को काट नहीं पाती थी बस कोने में माला लेकर बैठ जाती थी। जब मेरे विवाह की बात चली और मुझे पता चला कि घर में मुझे बड़ी बहू बनना होगा तो मेरी खुशी का कोई ठिकाना नहीं था। घर … Read more

मिट जानी हैं दूरियां – साहिबा टंडन : Moral Stories in Hindi

मालती की बोर्ड परीक्षाएं बस शुरु होने की थीं. सुजाता दिन रात उसका ख्याल रख रही थी. अनिल भी ऑफिस से आते जाते मालती को उसकी तैयारियों के बारे में पूछ लेते थे. मालती कोचिंग सेंटर भी जाती थी. हालांकि कोचिंग संस्थान दूर था और बच्चे भी क्षमता से ज्यादा थे पर अनिल और सुजाता … Read more

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