देवकन्या (भाग-17) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

प्रशिक्षण- ******** सखी रूको””” मधूलिका आगे आकर अमरा का रास्ता रोककर खडी हो गयी”””‘ मधूलिका पर प्रश्नवाचक दृष्टि डाली अमरा  ने”””” वहां तुम्हारे लिऐ खतरा हो सकता है “”” मै जाऊंगी “”” द्धार खोलकर आगे बढ गयी_मधूलिका”__ रेशमी पर्दे के पीछे खडा तरूण अचानक  बाहर आ गया””” कौन””” मै संदेशवाहक “”” क्या संदेश लाये हो””” … Read more

देवकन्या (भाग-16) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

चंपापुरी  की राजकुमारी””” ************** देवी कौन हो तुम “”” मै समय की मारी एक स्त्री”” अपना जैविक परिचय दो भगवती”””” अश्रुबूंदे   छलक आयी उस युवती के चेहरे पर”” वो विलख उठी”””उसके अधर उसका साथ न दे रहे थे”” मै चंपा नरेश, दधिवाहन, रानी धारणी की पुत्री, राजकुमारी,चद्रबाला हूँ। उस युवती  ने इधर उधर पलट … Read more

देवकन्या (भाग-15) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

अधिकार””””” ये रूको” पीछे से आवाज सुनकर दोनों ,युवतियां ठिठक कर रूक गयी””” आपने  किसकी अनुमति से राज उद्यान मे प्रवेश किया “”” मेरे स्वंयम् की” ,पलट कर बोली अमरा” अरे देवी  देवकन्या आप ,मेरा सौभाग्य  की आपके दर्शन हुऐ””” मै राज्यआज्ञा से आया हूं “” क्षमा देवी”” महाराज को कुछ संदेह   था” आप … Read more

देवकन्या (भाग-14) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

अज्ञात तीन वर्ष” **********”” मान्यवर ”यदि आप कीचिंत मात्र  भी नारी का सम्मान करते हो तो तीन वर्ष की आवधि तक आप देवी  देवकन्या,से दूर रहना “” ठीक है राजनायक, ये बात मै नही भूलूंगा की आपने मेरा अपमान  किया, तीन वर्ष के बाद मै   देवी  देवकन्या”  से यही मिलूंगा””क्रोध से पैर पटकता हुआ … Read more

देवकन्या (भाग-13) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

!!परिवर्तन !! सुबह से ही लिच्छवी  राजा मनुदेव का मन बैचेन था”” उसकी आंखो के सामने नृत्य करती युवती का प्रतिबिम्ब घूम रहा था!! वे संघ के शानदार  लिच्छवी  कबीले के प्रसिद्ध  राजा थे” पर आज एक कन्या ने उन्हें  हताश कर दिया “” वो ग्यारह बाराह वर्ष की बाला”तीखे नैन नक्श, हिरनी सी “” … Read more

देवकन्या (भाग-12) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

निर्णय !! रात्रि का अंतिम पहर’ दो घुड़सवार दृतगति से भवन की ओर चले आ रहे थे! मदनिका दूर से ही समझ गयी थी की,वो दोनों कौन है””” -वो रात्रि  के   अंतिम पहर तक वही बाहर राजपथ पर उन्ही का इंतजार  कर रही थी! दोनों घुड़सवार भवन के बाहर आकर खडे हो गये!!! ब्रह्ममुहुर्त … Read more

देवकन्या (भाग-11) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

अवधि” ******** संघ की सभी ,सभासद”एकत्रित हो चुके थे! देखकर लग रहा था, आज किसी के पास कोई कार्य नही है, सिर्फ इस फैसले के””सिवा” एक समंत उठकर कर खडा हो गया “” उसके हाथ मे एक सूचना पत्र था, जो बारी बारी सबके सामने रखा गया, उस पत्र पर लिखी सूचना से सभी सहमत … Read more

देवकन्या (भाग-10) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

सम्मान” संध्या बेला का समय, चारों तरफ अफरा तफरी मची थी””” सौन्दर्य पूर्ण कन्याओं का आगमन हो चुका “” नगर के सबसे बडे मैदान को समतल करके,चारों तरफ से कनाते लग दी गयी थी””” मसनद चौकियां, बडे बडे मल मल के गद्दे”विछा दिये गये थे”” गलियों  मे केवडे का छिडकाव मिट्टी मे मिलकर सुगंधित हो … Read more

देवकन्या (भाग-9) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

मृगनयनी “ ******** मदनिका जैसे जैसे वस्त्र हटाती जा रही थी, वैसे वैसे सौंदर्य बढता  जा रहा था ,जलराशी मे जैसे   चंद्रमा आज खुद उतर आया””” कुवांरी  हमने अबतक आपसे सुन्दर युवती नही देखी, चपला अमरा,की ओर उन्मुख होकर बोली”” वो रूपराशि  के चक्कर में,द्धार बंद करना  भूल गयी”” चंदन और सुन्दर गंध से … Read more

देवकन्या (भाग-8) – रीमा महेन्द्र ठाकुर : Moral stories in hindi

प्रेमलाप शिक्षा””” देवी आप अस्वस्थ है कक्ष मे चलकर वार्तालाप करते है, जी””निरीहता से हर्षदेव की ओर देखा, अमरा ने”” चले “” अमरा को  बाजुओं का सहारा  देते हुऐ हर्षदेव  बोला “ अमरा पर हर्षदेव  का प्रभाव पडता  जा रहा था “” उसकी बलिष्ट   भुजाऐं चौडा सीना, अमरा  के ग्यारहवें  बंसत की दहलीज पर … Read more

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