वो सच में एक भाई का फर्ज़ निभा गया था – गीतू महाजन

Post View 126,668 भरी दोपहर में दरवाज़े की घंटी बजी तो नीता जी  बड़बड़ाते हुए बिस्तर से उठी,”यह कोरियर वाले भी इतनी दोपहर को ही आते हैं या कोई सेल्स गर्ल होगी।इन सब को यही समय मिलता है आने का।अभी-अभी तो फुर्सत से लेटी थी मैं”। दरवाज़ा खोला तो सामने एक तेईस चौबीस वर्ष का … Continue reading वो सच में एक भाई का फर्ज़ निभा गया था – गीतू महाजन