Post View 215 अभी स्कूल बस आने में देर थी । आरव तैयार था बस करुणा को बालों में कंघी करनी थी। अचानक उसकी नजर बरामदे में रखे गमले के अधखिले लाल गुलाब पर गयी। उसके चेहरे पर मुस्कान के साथ एक याद भी तैर गयी। ” आप मुझे गुलाब नही देंगे क्या?” उसने अरुण … Continue reading मेरा गुलाब – दीप्ति सिंह
Copy and paste this URL into your WordPress site to embed
Copy and paste this code into your site to embed