जिसके थे उसके काम आ गए…रश्मि झा मिश्रा : Moral stories in hindi

Post View 84,450 एक तुम्हीं पर तो मुझे भरोसा था… तुमने भी मेरा भरोसा तोड़ दिया… ऐसा कैसे किया तुमने… धिक्कार है तुम्हें जीवा… धिक्कार है… धिक्कार है……!   जीवन उठ बैठा… स्वप्न में मां को इस तरह रोते हुए खुद को धिक्कारता देख उसकी आंखें भर आई… सच ही तो कह रही है अम्मा… मैंने … Continue reading जिसके थे उसके काम आ गए…रश्मि झा मिश्रा : Moral stories in hindi