“ज़िंदगी का नाम समझौता नहीं… डॉ. सुनील शर्मा

Post View 630 ज़िंदगी का  दूसरा नाम समझौता है बिटिया, मां ने हमेशा यही समझाया था. औरत को पग पग पर परिस्थितियों से तालमेल बैठाना ही पड़ता है. हवा के रुख को पहचान कर बहाव के साथ चलने में ही समझदारी है. नारी चाहे पिता के घर हो या ससुराल में, गृहणी हो या किसी … Continue reading “ज़िंदगी का नाम समझौता नहीं… डॉ. सुनील शर्मा