“स्वार्थी संसार ” – सरोजनी सक्सेना : Moral Stories in Hindi

Post View 235 घुंघरू के स्वर की मधुर लहरी, खुरो के पद चाप का संगीत, खुरों से उड़ती धूल की सुगंध, कोयल की कुहू कुहू की मादक सुरीली मस्त आवाज, मानो ऐसी लग रही थी कि यही जीवन है । सूर्य देवता भी इस मनोरम दृश्य से मदहोश होकर ऐसे झांक रहे हैं, जैसे नई-नई … Continue reading  “स्वार्थी संसार ” – सरोजनी सक्सेना : Moral Stories in Hindi