डॉक्टर बेटी की समझदारी – वर्षा गर्ग : Moral Stories in Hindi

डॉक्टर साहब का नाम उनके कस्बे में बहुत इज्ज़त और आदर से लिया जाता था। चालीस वर्षों से उनकी प्रैक्टिस का डंका बजता था। लोग उनकी ईमानदारी और ज्ञान की प्रशंसा करते नहीं थकते थे। लेकिन समय के साथ, उनकी प्रैक्टिस धीमी होने लगी। पहले जहां दिनभर में बीस-तीस मरीज आते थे, अब पांच-छह मरीज … Read more

धन और स्वार्थ – सरोज माहेश्वरी : Moral Stories in Hindi

मुंबई के पॉश इलाके में रहने वाले आलोकनाथ जी एक प्रतिष्ठित व्यक्ति थे। उनके घर में धन, रुतबा, और समाज में इज्ज़त की कोई कमी नहीं थी। उनकी बेटी सौम्या भी उन्हीं की तरह महत्वाकांक्षी और तेज-तर्रार स्वभाव की थी। लेकिन उसके स्वभाव में एक गहरी कमी थी—धन और स्वार्थ के प्रति उसका लगाव। उसने … Read more

सर्दी की वो शाम… – विभा गुप्ता : Moral Stories in Hindi

चार बजने को हुए तो सलोनी खिड़की बंद करने लगी…उम्र हो रही थी..अब हल्की ठंड भी उसके लिये जानलेवा हो जाती थी, फिर अभी तो दिसम्बर की कड़कती सर्दी है।तुलिका भी काॅलेज़ से आती ही होगी…।खिड़की बंद करते हुए उसकी नज़र अस्तांचल सूरज पर पड़ी जो दिनभर की थकान के बाद विश्राम करने के लिये … Read more

झूठा नाटक – सहदेव सिंह शेखावत : Moral Stories in Hindi

भाई की तबीयत का समाचार पाकर गर्विता परेशान सी हो गई। चाय देने गई तो चेहरा देखते ही सास इस बात को समझ गई कि बहू किसी दुविधा में है। उन्होंने बड़े अपनेपन से पूछा कि क्या बात है। गर्विता ने बता दिया। उन्होंने पूरे अधिकार से कहा कि वह भाई को देखने जाने की … Read more

शक का शिकार वही क्यों बनती है….. – संगीता त्रिपाठी : Moral Stories in Hindi

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तनु को तुरंत अस्पताल में एडमिट कराया गया। बाहर तनु का पति विशाल और सास रेवती -ससुर मनोहर जी चिंतामग्न बैठे थे। रेवती जी मन ही मन ईश्वर से मना रही थी तनु ठीक हो, ज्यादा ना जली हो।तनु के मायके खबर दे दी गई थी। बहू के जलने का मामला था। थोड़ी देर में … Read more

माँ जी, क्या ससुर जी को भी आपने पाल पोसकर बड़ा किया है?? – सविता गोयल : Moral Stories in Hindi

कोमल शुरू से ही संयुक्त परिवार में रहती आई थी और चाहती थी कि उसे ससुराल भी ऐसा ही मिले । जब उसके लिए रमन का रिश्ता आया तो उसके परिवार के बारे में सुनकर कोमल खुश थी ।कोमल को उसकी इच्छा अनुसार भरा पुरा ससुराल मिला था । ससुराल में सास तनुजा जी, ससुर … Read more

चाँद – विजया डालमिया : Moral Stories in Hindi

“सरला…. चलो, जल्दी से तैयार हो जाओ”। माँजी बाहर से कहे जा रही थी। पर मेरा मन बिल्कुल भी नहीं था ।इसीलिए मैं सुना अनसुना कर रही थी। अनमनी और अनियंत्रित भावनाओं को रोकने के लिए अपने आप से काफी जद्दोजहद करनी पड़ती है। बावजूद इसके वे थमती नहीं। सरला एक सुलझी और समझदार लड़की … Read more

मेरी बहू तो सब कुछ संभाल लेती है – राशि सिंह : Moral Stories in Hindi

दीक्षा की शादी को अभी कुछ ही महीने हुए थे। नई-नई बहू के लिए ससुराल का माहौल वैसे तो ठीक-ठाक था, पर सासू मां का स्वभाव दीक्षा को हर समय तनाव में रखता था। वे हर छोटी-बड़ी बात पर टोका करतीं, कभी चाय बनाने में देर हो जाने पर, तो कभी साड़ी का पल्लू ठीक … Read more

स्वाभिमान का भार – पुष्पा पाण्डेय : Moral Stories in Hindi

पचहत्तर वर्षीय रामप्रसाद जी के जीवन का हर दिन एक संघर्ष बन गया था। उनकी उम्र और हालत दोनों ही उनके खिलाफ थे। उनकी पत्नी का देहांत हुए कई साल हो चुके थे, और तब से वे अकेले अपने जीवन की गाड़ी खींच रहे थे। उनके घर के छोटे-मोटे कामों में रघुआ उनकी मदद करता … Read more

असली श्रद्धांजलि – आशा श्रीवास्तव : Moral Stories in Hindi

सुबह का समय था, और प्रदीप के घर पर चहल-पहल थी। घर के बाहर एक बड़ा मंडप सजाया गया था, जहां पंडितों के मंत्रोच्चार गूंज रहे थे। यह सब प्रदीप के पिता की आत्मा की शांति के लिए आयोजित श्राद्ध कार्यक्रम का हिस्सा था। घर के अंदर और बाहर लोग व्यस्त थे, कोई दान के … Read more

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